ये “एसपी साहेब”! हैं। इनका घौंस सुनकर महिला पुलिस अधिकारी की नींद उड़ी थी। हर वक्त महिला पुलिस अधिकारी को सस्पेंड करने की धमकी देते थे। मगर कहानी में आ गई बड़ी ट्वीस्ट और फिर जो सामने आया, पुलिस को मिली बड़ी कामयाबी। महिला पुलिस अधिकारी को मिली बड़ी राहत। खबर आप भी पढ़िए जो नवादा से है।
दरअसल, यह कहानी है गोविंदपुर थाना इलाका निवासी सिद्धेश्वर यादव के बेटे मनोज यादव की। इन्हें एसपी बनने का बड़ा शौक शुमार हो गया। खुद को नवादा एसपी बताते हुए उन्होंने महिला दारोगा को फोन पर धमकी देना शुरू कर दिया।
जानकारी के अनुसार, नारदीगंज थाने की दारोगा अंशु प्रभा हैं। इन्हें इस सिरफिरे ने बार बार फोन करके अपना रौब जमाना शुरू कर दिया।
धमकी भरा यह कॉल जब आया तो वह नवादा एसपी बताते हुए महिला एसआई को थानेदार बनाने की लालच देने लगा। यह बात अंशु प्रभा को हजम नहीं हुई। जब उन्होंने फोन काट दिया तो दोबारा उसने कॉल किया और इस बार उसे सस्पेंड करने की धमकी देने लगा।
इसके बाद महिला दारोगा ने अगले दिन नारदीगंज थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई। इसके बाद सर्विलांस की मदद से उसे पुलिस ने दबोच लिया।
पुलिस ने उसे गिरफ्तार करते हुए बताया कि वह पुलिस अधिकारी बनकर कई पुलिस पदाधिकारियों और कर्मियों को कॉल करता था। नारदीगंज के थानेदार मुकेश कुमार को भी एसपी बनकर फोन किया था। थाने से जुड़ी बातें पूछने की कोशिश करता था।
मनोज यादव ने पटना सिटी एसपी तक को कॉल कर चुका है। इसके खिलाफ पटना के गर्दनीबाग में भी मामला दर्ज है। साथ ही रोहतास, शिवहर, औरंगाबाद में भी कई मामले दर्ज है। फिलहाल अब उसे जेल भेज दिया गया है।