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5 फ़रवरी, 2024
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देवो के देव कुशेश्वरनाथ महादेव के दरबार में न्यायाधीश, देखें VIDEO

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जय बाबा कुशेश्वरनाथ: पटना हाई कोर्ट के न्यायाधीश कुशेश्वरस्थान मंदिर पहुंचे। (Jai Baba Kuseshwar Nath: Patna High Court Judge Visits Kuseshwarsthan Temple)। किया। साथ ही, पटना उच्च न्यायालय के न्यायाधीश एवं जिला जज ने भोलेनाथ व अन्य देवी देवताओं का दर्शन पूजन कर अपने स्वजनों के साथ-साथ प्रदेश में अमन-चैन और सुख समृद्धि का कामना की। देखें VIDEO

न्यायाधीश अनिल कुमार सिन्हा ने किया जलाभिषेक

(Justice Anil Kumar Sinha Performs Jalabhishek)
रविवार को कुशेश्वरस्थान शिव मंदिर में पटना उच्च न्यायालय के न्यायाधीश अनिल कुमार सिन्हा, जिला जज विनोद कुमार तिवारी, उनकी धर्मपत्नी, पुत्र, और अन्य प्रशासनिक अधिकारियों ने पवित्र दर्शन और पूजन किया।

मंदिर के पंडित आचार्य राज नारायण झा के नेतृत्व में वेदों के मंत्रोच्चार के साथ न्यायाधीश एवं अन्य अधिकारियों को भोलेनाथ महादेव, माता पार्वती, गणपति, और भैरव लाल की पूजा-अर्चना कराई गई।

शांति और समृद्धि के लिए प्रार्थना

(Prayers for Peace and Prosperity)
न्यायाधीश और जिला जज ने भगवान शिव के समक्ष अमन-चैन और प्रदेश की समृद्धि की कामना की। इस दौरान उन्होंने मंदिर परिसर में स्थित अन्य देवी-देवताओं का भी दर्शन किया।

मिथिला की परंपरा से हुआ सम्मान

(Honored with Mithila’s Traditional Customs)
मंदिर न्यास समिति के उपाध्यक्ष बाबू कांत झा ने न्यायाधीश और जिला जज का मिथिला की परंपरा अनुसार पाग, चादर, और मंदिर की तस्वीर देकर सम्मान किया। पुष्प माला के साथ उन्हें बाबा कुशेश्वरनाथ का आशीर्वाद प्रतीक स्वरूप भेंट किया गया।

उपस्थित अधिकारी और सुरक्षा व्यवस्था

(Officials and Security Arrangements)
इस अवसर पर कुशेश्वरस्थान मंदिर में एसडीओ उमेश कुमार भारती, बीडीओ अशोक कुमार जिज्ञासु, थाना अध्यक्ष राकेश कुमार सिंह, और अन्य पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी मौजूद थे। मंदिर परिसर की सुरक्षा के लिए सुरक्षा बलों के जवान भी तैनात थे।

मिथिला के गौरव का प्रतीक कुशेश्वरस्थान

(Symbol of Mithila’s Heritage: Kuseshwarsthan)
कुशेश्वरस्थान मंदिर मिथिला के सांस्कृतिक और धार्मिक महत्व का प्रतीक है। न्यायाधीश और प्रशासनिक अधिकारियों की यह यात्रा इस मंदिर की धार्मिक महत्ता और ऐतिहासिक परंपरा को दर्शाती है। मिथिला की संस्कृति और आध्यात्मिक धरोहर को संरक्षित रखने की दिशा में यह सम्मान एक प्रेरणा है।

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