पप्पू यादव धमकी मामले में बड़ा खुलासा: खुद ही रच रहे थे साजिश
पूर्णिया के सांसद पप्पू यादव के धमकी प्रकरण ने अब एक नया मोड़ ले लिया है। पुलिस की जांच में खुलासा हुआ है कि जिस धमकी का दावा सांसद द्वारा किया जा रहा था, वह पूरी तरह से एक साजिश थी। धमकी देने वाला व्यक्ति पप्पू यादव का पूर्व समर्थक और जन अधिकार पार्टी (जाप) का पुराना सदस्य निकला।
अब सारा मामला उल्टा हो गया
जहां, गिरफ्तार अपराधी के कबूलनामें ने सांसद पप्पू यादव की पोल खोल कर रख दी है। सांसद पप्पू यादव के यहां से बार-बार कहां जा रहा था कि 25 से 30 बार मेरे यहां धमकी आ चुकी है। परंतु अब सारा मामला उल्टा हो गया।
क्या है पूरा मामला?
पिछले कुछ हफ्तों से सांसद पप्पू यादव ने दावा किया था कि उन्हें लॉरेंस बिश्नोई गैंग से जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं। उन्होंने बार-बार कहा कि उनकी जान को खतरा है और सुरक्षा बढ़ाने की मांग की। परंतु पुलिस की गहन जांच में यह बात सामने आई कि यह धमकियां खुद सांसद के करीबी सहयोगियों द्वारा प्रायोजित थीं।
गिरफ्तारी और खुलासा
पुलिस ने भोजपुर जिले के रामबाबू यादव को गिरफ्तार किया, जो इस साजिश में शामिल था।
- पूछताछ के दौरान, रामबाबू यादव ने स्वीकार किया कि उसे धमकी भरे वीडियो बनाने और भेजने के लिए सांसद के करीबी लोगों ने संपर्क किया था।
- योजना के तहत, 2 लाख रुपये की डील तय हुई थी, जिसमें से 2000 रुपये एडवांस दिए गए थे।
- धमकी का उद्देश्य था पप्पू यादव की सुरक्षा बढ़वाना और राजनीतिक लाभ उठाना।
वीडियो की साजिश
पुलिस के अनुसार:
- दो वीडियो बनाए गए थे।
- एक वीडियो सांसद को भेजा गया और दूसरा बैकअप के रूप में रखा गया।
- वीडियो में यह दिखाने की कोशिश की गई कि धमकी लॉरेंस बिश्नोई गैंग से आ रही है।
एसपी का बयान
पूर्णिया के एसपी कार्तिकेय शर्मा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में स्पष्ट किया कि:
- धमकी देने वाला रामबाबू यादव का लॉरेंस बिश्नोई गैंग से कोई संबंध नहीं है।
- यह पूरी घटना पप्पू यादव और उनके सहयोगियों की ओर से रची गई साजिश है।
- मामले में शामिल अन्य लोगों की जांच चल रही है, और जल्द ही कार्रवाई होगी।
संसदीय मर्यादा पर सवाल
पूर्णिया के लोग इस घटना को लेकर बेहद नाराज हैं। उनका कहना है कि “सांसद द्वारा ऐसी साजिश रचकर जनता के साथ धोखा करना शर्मनाक है।”
- लोग इसे संसदीय गरिमा के खिलाफ मान रहे हैं।
- पप्पू यादव द्वारा पहले भी 9000 बीघा जमीन और विदेशी बुलेटप्रूफ गाड़ी जैसे दावों को लेकर विवाद हुआ था।
लोग अब सांसद से जवाबदेही की मांग कर रहे हैं
यह मामला न केवल सांसद की छवि पर सवाल खड़े करता है, बल्कि जनता के विश्वास को भी चोट पहुंचाता है। जांच में दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की संभावना है। पूर्णिया के लोग अब सांसद से जवाबदेही की मांग कर रहे हैं।
सांसद पप्पू यादव के खिलाफ बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है
सांसद पप्पू यादव के खिलाफ एक बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। पुलिस ने खुलासा किया है कि पप्पू यादव को लॉरेंस बिश्नोई गैंग से धमकी मिलने का मामला पूरी तरह से झूठा था। दरअसल, पप्पू यादव खुद ही धमकी दिलवा रहे थे, ताकि अपनी सुरक्षा बढ़वाने का रास्ता तैयार किया जा सके। पुलिस ने इस मामले में भोजपुर जिले के रामबाबू यादव को गिरफ्तार किया है, जो धमकी देने के आरोप में शामिल था।
पूर्णिया के पुलिस अधीक्षक के बड़ा खुलासा
पूर्णिया के पुलिस अधीक्षक (एसपी) ने 3 दिसंबर को एक प्रेस कांफ्रेंस में मामले का खुलासा करते हुए बताया कि रामबाबू यादव को धमकी देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। एसपी ने बताया कि पूछताछ में आरोपी ने सारी बातें उगल दीं और यह स्पष्ट किया कि पप्पू यादव को धमकी देने वाला वीडियो एक व्यक्ति ने सोशल मीडिया पर डाला था, जो भोजपुर का रहने वाला था। जांच में यह भी सामने आया कि पप्पू यादव के लॉरेंस बिश्नोई गैंग से कोई लिंक नहीं है।
पप्पू यादव भोजपुर के रामबाबू यादव के गांव गए थे
एसपी ने बताया कि कुछ समय पहले पप्पू यादव भोजपुर के रामबाबू यादव के गांव गए थे। वहां उनके साथ फोटो भी खिंचवाई थी। रामबाबू यादव पहले पप्पू यादव के समर्थक और पुरानी पार्टी जाप (जन अधिकार पार्टी) का सदस्य रह चुका था।
इसका उद्देश्य पप्पू यादव की सुरक्षा बढ़वाना था
पूछताछ में यह सामने आया कि पप्पू यादव के सहयोगियों ने रामबाबू यादव से संपर्क किया और उसे धमकी दिलवाने के लिए राजी किया। इसका उद्देश्य पप्पू यादव की सुरक्षा बढ़वाना था। इस योजना के तहत धमकी देने के लिए रामबाबू यादव को पैसे भी दिए गए और यह भी बताया गया कि धमकी में क्या कहना है।
पहला वीडियो पप्पू यादव के मोबाइल पर भेजा गया, जबकि
पुलिस ने बताया कि दो वीडियो शूट किए गए थे। पहला वीडियो पप्पू यादव के मोबाइल पर भेजा गया, जबकि दूसरा वीडियो भेजा नहीं जा सका। एसपी ने बताया कि इस मामले में 2 लाख रुपये का सौदा तय हुआ था, जिसमें से पहले 2000 रुपये आरोपी को दिए गए थे।
वास्तव में एक षड्यंत्र का हिस्सा था। उसने खुलासा किया कि
पुलिस की गहन जांच में सामने आया है कि धमकी देने वाला व्यक्ति राम बाबू राय, जो कि जन अधिकार पार्टी का पुराना समर्थक है, वास्तव में एक षड्यंत्र का हिस्सा था। उसने खुलासा किया कि उसे सांसद की कथित ‘जेड’ सुरक्षा सुनिश्चित कराने के लिए दो लाख रुपये का लालच दिया गया था।
सांसद के करीबी समर्थकों ने संपर्क कर धमकी भरा वीडियो
पुलिस की पूछताछ में राम बाबू ने बताया कि महीने भर पहले सांसद के करीबी समर्थकों ने उससे संपर्क कर धमकी भरा वीडियो बनाने को कहा था। दो वीडियो बनाए गए थे जिसमें एक को भेजा गया और दूसरा वीडियो बाद में भेजा जाना था। इस पूरी साजिश में उसे एडवांस में दो हजार रुपये भी दिए गए थे।
राम बाबू का लॉरेंस बिश्नोई ग्रुप से कोई संबंध नहीं है
पूर्णिया के एसपी कार्तिकेय शर्मा ने इस जटिल मामले की जांच जारी होने की पुष्टि की है और यह भी स्पष्ट किया कि राम बाबू का लॉरेंस बिश्नोई ग्रुप से कोई संबंध नहीं है। जिन लोगों ने इस युवक से संपर्क किया था उनका जांच चल रहा है उसके बाद कार्रवाई होगी।
क्या इतना झूठ इतना फरेब बोलकर संसदीय मर्यादा
वास्तव में पूर्णिया में चर्चा का विषय था कि क्या कोई मर्डर करने वाला इतनी धमकी बार-बार सांसद पप्पू यादव को दे सकता है। अधिकतर लोगों का कहना था कि यह फर्जी प्लान है जेड श्रेणी सुरक्षा लेने के लिए। लोगों में अब यह चर्चा का विषय है कि क्या इतना झूठ इतना फरेब बोलकर संसदीय मर्यादा तार तार की जा सकती है क्या।
लोगों का कहना है कि पूर्णिया की यह बड़ी बेइज्जती है
कभी यह कहना कि 9000 बीघा जमीन था। कभी यह कहना कि विदेश से मैं बुलेट प्रूफ गाड़ी मंगाई। अब जेड श्रेणी सुरक्षा के लिए इतना बड़ा झूठा एक सांसद को शोभा नहीं देता है। पूर्णिया के अधिकतर लोगों का कहना है कि पूर्णिया की यह बड़ी बेइज्जती है।