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दिसम्बर, 23, 2025

बिहार लैंड रिकॉर्ड्स: जमाबंदी और नामांतरण हुआ डिजिटल, चक्कर काटने की झंझट खत्म

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Bihar Land Records: अब कागज के बोझ तले दबने की जरूरत नहीं, जब एक क्लिक पर मिलेगी हर समस्या का समाधान। बिहार की धरती पर बदलाव की नई बयार बह रही है।

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बिहार लैंड रिकॉर्ड्स: पटना में राजस्व महाभियान से जमाबंदी और नामांतरण हुआ डिजिटल, चक्कर काटने की झंझट खत्म

बिहार लैंड रिकॉर्ड्स: अब घर बैठे सुधरेगी जमाबंदी और नामांतरण

बिहार के पटना जिले में अब भूमि संबंधी कार्यों के लिए सरकारी दफ्तरों के बार-बार चक्कर लगाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। राजस्व महाभियान के तहत राज्य सरकार ने एक बड़ा डिजिटल कदम उठाया है, जिससे जमाबंदी सुधार और नामांतरण (दाखिल-खारिज) की पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन हो जाएगी। यह पहल भूमि संबंधी विवादों को कम करने और पारदर्शिता लाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण प्रयास है।

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यह नई व्यवस्था पटना जिले में लागू होने जा रही है, जिसके तहत जमाबंदी और नामांतरण के आवेदनों को सीधे पोर्टल पर अपलोड किया जाएगा। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। इस डिजिटल प्लेटफॉर्म से न केवल आवेदन करना आसान होगा, बल्कि किसी भी तरह की कमी या त्रुटि होने पर आवेदक को सीधे ऑनलाइन सूचना भी प्राप्त हो सकेगी। इससे पहले आवेदकों को अपनी अर्जी की स्थिति जानने या सुधार के लिए कई दिनों तक इंतजार करना पड़ता था, जिसमें अब कमी आएगी।

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राजस्व विभाग की नई पहल और पारदर्शिता

इस पहल से राजस्व विभाग की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता आएगी और भ्रष्टाचार पर लगाम लगेगी। ऑनलाइन जमाबंदी और नामांतरण की सुविधा से आम जनता को काफी राहत मिलेगी। अब उन्हें छोटे-छोटे कार्यों के लिए अधिकारियों या बिचौलियों पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा। यह व्यवस्था बिहार में डिजिटल क्रांति को और बढ़ावा देगी। देश की हर बड़ी ख़बर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

डिजिटल माध्यम से मिलेगी त्वरित सूचना

राजस्व महाभियान के तहत शुरू की गई इस डिजिटल प्रक्रिया का मुख्य उद्देश्य त्वरित सेवा प्रदान करना है। जब कोई आवेदन पोर्टल पर अपलोड किया जाएगा, तो उसकी जांच तुरंत शुरू हो जाएगी। यदि आवेदन में कोई दस्तावेज अधूरा है या जानकारी गलत है, तो सिस्टम सीधे आवेदक को सूचित करेगा। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। इससे सुधार की प्रक्रिया तेज होगी और अनावश्यक देरी से बचा जा सकेगा। यह कदम भूमि मालिकों के लिए एक बड़ी सुविधा है।

भविष्य की राह और जनता को लाभ

यह कदम भविष्य में पूरे बिहार में भूमि संबंधी सेवाओं को पूरी तरह से डिजिटल बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित हो सकता है। पटना जिले में मिली सफलता के बाद इसे अन्य जिलों में भी लागू किया जा सकता है। इससे ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों के लोगों को समान रूप से लाभ मिलेगा। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। भूमि रिकॉर्ड्स का डिजिटल होना न केवल प्रशासनिक दक्षता बढ़ाएगा, बल्कि नागरिकों के लिए भी इसे अधिक सुलभ और भरोसेमंद बनाएगा।

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