जाले, देशज टाइम्स। बिहार का चर्चित लतराहा दोघरा महावीरी झंडा महोत्सव मंगलवार को प्रशासनिक देखरेख में भारी पुलिस सुरक्षा व्यवस्था के बीच छिटपुट घटना को छोड़कर शांतिपूर्वक संपन्न हो गया। मौके पर महावीरी झंडा के सभी 51 तल्ला में विराजे देवी देवताओं की पूजा अर्चना हजारों श्रद्धालुओं ने पक्तिबद्ध होकर किया।
महावीरी झंडा महोत्सव स्थल समेत सभी संवेदनशील स्थलों पर दंडाधिकारी के साथ सुरक्षा बल तैनात थी। झंडा महोत्सव के आसपास के घरों के छत से सशस्त्र सुरक्षा बल की ओर से कड़ी चौकसी के साथ निगरानी की जा रही थी। महोत्सव स्थल पर बने नियंत्रण कक्ष से जिला नियंत्रण कक्ष से पल-पल की जानकारी ली जा रही थी।
सबसे पहले दोघरा गांव का विशाल महावीरी झंडा जुलूस के साथ 121 फीट गगनचुंबी महावीरी झंडा को लेकर जय शिव जय शिव के जयकारा के साथ दोघरा पुरानी बाजार स्थित मुख्य सड़क के पूरब झंडा वेदी के निकट पहुंचा।
झंडा बीचों बीच से टूट गया। पहले हमारा झंडा पूजा वेदी पर रखने के प्रश्न पर दोघरा एवम लतराहा के लोगों की बीच एक दूसरे के ऊपर पत्थरबाजी के साथ झंडा के ऊपर पत्थरबाजी होने से कुछ देर के लिए झंडास्थल पर भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गई।
वहीं, दोघरा के कार्यकर्ताओं ने महावीरी झंडा को उठाकर पूजा वेदी पर स्थापित कर दिया। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि लतराहा से लाए गए विशाल गगनचुंबी महावीरी झंडा जिसके सभी 51 तल्लों में भगवान के चित्र विराजे थे। वह विशाल झंडा बेदी पर आने के दौरान दो बार बीचों-बीच टूट कर बिखर गया।
मौके पर मौजूद जाले थानाध्यक्ष यशोदानंद पांडेय के नेतृत्व में पुलिस बल ने सूझ बूझ से बीच बचाव कर मामले को शांत कराया। इस दौरान नगरडीह का विशाल महावीरी झंडा परंपरागत हथियारों लाठी, भाला, फरसा, तलवार योगचाप आदि का करतब दिखाते जय शिव जय शिव नारा के साथ महावीरी झंडा महोत्सव स्थल के वेदी पर स्थापित किया गया।
तीसरा झंडा जुलूस सीमावर्ती सीतामढ़ी जिला के नानपुर थाना क्षेत्र के सौरिया गांव से महावीरी झंडा के साथ नानपुर थानाध्यक्ष व बोखरा ओपी पुलिस की निगरानी में निर्धारित स्थल तक पहुंचाया गया। वहीं, नगरडीह गांव का महावीरी झंडा पर जुलूस के साथ महोत्सव स्थल पर पहुंचाया गया।
मौके पर थानाध्यक्ष यशोदानंद पांडेय, बीडीओ दीनबंधु दिवाकर, सीओ राकेश कुमार मेला क्षेत्र में घूम-घूम कर विधि व्यवस्था के जायजा लेते देखे गए।