
अर्जुन मुंडा की नीतीश कुमार से मुलाकात! CM आवास पर आधे घंटे की बैठक! नीतीश-अर्जुन मुंडा की जोड़ी ने विपक्ष की नींद उड़ाई। बिहार चुनाव को लेकर सियासी हलचल तेज़। बिहार चुनाव पर बड़ी बैठक! अर्जुन मुंडा ने कहा – NDA फिर बनाएगी सरकार। नीतीश से मुलाकात के बाद अर्जुन मुंडा का बड़ा बयान – NDA की जीत तय! नीतीश कुमार पूरी तरह फिट! अर्जुन मुंडा ने स्वास्थ्य पर उठाए गए सवालों का दिया जवाब। बिहार NDA की रणनीति हुई मजबूत! नीतीश-अर्जुन मुंडा की बैठक से विपक्ष में खलबली@चुनावी कांव-कांव, देशज टाइम्स पॉलिटिकल डेस्क।
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा और नीतीश कुमार की अहम मुलाकात, बिहार की राजनीति में मचा हलचल
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने रविवार को बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात की। यह मुलाकात मुख्यमंत्री आवास पर हुई, जहां दोनों नेताओं के बीच करीब आधा घंटे तक बातचीत चली।
मुलाकात का राजनीतिक महत्व
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इस मुलाकात में मुख्य रूप से आगामी बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारियों पर चर्चा हुई।
अर्जुन मुंडा ने कहा, “मैंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से राजनीतिक और चुनावी मामलों पर बातचीत की है। अगर पार्टी का आदेश होगा तो मैं बिहार में एनडीए के लिए कैंप करूंगा और प्रचार करूंगा।”
उन्होंने विश्वास जताया कि एक बार फिर बिहार में एनडीए की सरकार बनेगी।
नीतीश कुमार के स्वास्थ्य पर बयान
पत्रकारों ने जब नीतीश कुमार के स्वास्थ्य को लेकर सवाल किया तो अर्जुन मुंडा ने साफ कहा, अभी हमारी मुलाकात हुई है, मुख्यमंत्री पूरी तरह से शारीरिक और मानसिक रूप से फिट हैं। इस बयान के बाद मुख्यमंत्री की तबीयत को लेकर चल रही चर्चाओं पर भी विराम लग गया।
बिहार की राजनीति में हलचल
अर्जुन मुंडा के इस दौरे और बयानों से बिहार की राजनीति में नई हलचल मच गई है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि आने वाले दिनों में एनडीए की चुनावी रणनीति और भी मजबूत हो सकती है। भारतीय जनता पार्टी (BJP) और जनता दल यूनाइटेड (JDU) के मिलकर काम करने से विपक्ष को कड़ी चुनौती मिलेगी।
इस मुलाकात को 2025 के विधानसभा चुनाव के लिए एनडीए की टीम वर्क और तालमेल की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है।
राजनीतिक समीकरण पर असर
अर्जुन मुंडा भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं और केंद्रीय राजनीति में भी उनकी पकड़ मजबूत रही है। नीतीश कुमार का अनुभव और जदयू का संगठनात्मक ढांचा एनडीए को मजबूती प्रदान कर सकता है। आने वाले समय में दोनों दलों की संयुक्त रणनीति महागठबंधन (RJD, कांग्रेस और वाम दलों) के लिए बड़ी चुनौती होगी।