सुप्रीम कोर्ट ने बिहार सरकार की एसएलपी को खारिज कर दिया है। शुक्रवार को फ्रेश रिट पर सुनवाई होगी। साथ ही मामला दूसरी बेंच में ट्रासफर कर दिया गया है। बिहार सरकार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में बीएड अभ्यर्थियों को लेकर रिट दायर की गई थी।
इसे बिहार सरकार की ओर से वापस ले लिया गया है। इसके बाद कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है, जिसपर कोर्ट में शुक्रवार को सुनवाई होगी। सुप्रीम कोर्ट के इस निर्णय को थोड़ी राहत तो थोड़ी चिंता वाली बताई जा रही है। मामला दूसरी बेंच को ट्रांसफर कर दिया गया है।
पहले यह जान लीजिए मामला क्या था। मामला यह था कि बिहार सरकार ने शिक्षक नियुक्ति को लेकर सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल करते हुए बीएड पास शिक्षक अभ्यर्थियों का मामला रखा।
बिहार लोक बीपीएससी ने करीब दो सप्ताह पहले ये तय किया था कि बीएड पास प्राइमरी टीचर नहीं बन पाएंगे। उसके बाद शिक्षक भर्ती में शामिल 3 लाख 90 हजार बीएड पास कैंडिडेट्स के रिजल्ट पर रोक लगा दी गई थी। इससे बीएड पास कैंडिडेट्स में काफी आक्रोश था और इसी को लेकर सरकार के तरफ से सुप्रीम कोर्ट में अर्जी डाली गई थी।
अब बिहार सरकार बदलाव के साथ दूसरी याचिका दायर करेगी। क्लास 1 से 5 तक के शिक्षकों की नियुक्ति में बीएड अभ्यर्थियों को शामिल किए जाने को लेकर सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जो एसएलपी दायर की थी। बीपीएससी ने सिर्फ डीएलएड पास उम्मीदवारों का रिजल्ट जारी करने का निर्णय लिया है। बिहार सरकार ने 25 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर की गई थी। इस मामले में जस्टिस एएस बोपन्ना और जस्टिस एमएम सुंदरेश की बेंच में सुनवाई हुई।
दरअसल, बिहार में 1 लाख 70 हजार से ज्यादा शिक्षकों की नियुक्ति के मामले में आज सुप्रिम कोर्ट में सुनवाई होनी थी। बिहार सरकार ने याचिका को वापस ले लिया। इस मामले की सुनवाई जस्टिस ए एस बोपन्ना और जस्टिस एमएम सुंदरेश की बेंच में हुई।
बिहार सरकार ने अब यह तय किया है कि बदलाव के साथ दूसरी याचिका दायर करेगी। कोर्ट ने नयी याचिका पर सुनवाई के लिए शुक्रवार की तारीख तय की है। इस मामले की सुनवाई जस्टिस ए एस बोपन्ना और जस्टिस एमएम सुंदरेश की बेंच में हुई। बिहार सरकार ने अब यह तय किया है।
पटना हाईकोर्ट के इसी फैसले को आधार बना कर बिहार सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर की है। बिहार सरकार कह रही है कि उसे बीएड पास अभ्यर्थियों को प्राइमरी टीचर के पद पर नियुक्ति करने की इजाजत दी जाए।
वहीं बीपीएससी ने ये भी तय किया है कि सिर्फ डीएलएड पास उम्मीदवारों का ही रिजल्ट जारी किया जाएगा। बीपीएससी ने ये फैसला सुप्रीम कोर्ट के आदेश के कारण लिया है, सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में राजस्थान में शिक्षक बहाली के मामले में प्राइमरी टीचर के लिए बीएड की योग्यता को समाप्त कर दिया था।
कोर्ट ने कहा था कि उसके फैसले के बाद बीएड डिग्री धारी छात्र प्राइमरी शिक्षक के लिए योग्य नहीं होंगे। सिर्फ बीटीसी या डीएलएड डिग्री वाले छात्र ही कक्षा पांचवीं तक पढ़ाने के लिए पात्र माने जाएंगे।
बिहार में 1 लाख 70 हजार 461 शिक्षकों की नियुक्ति होनी है, जिसमें करीब 80 हजार प्राइमरी स्कूल के टीचर हैं। बिहार में शिक्षक बहाली प्रक्रिया जारी है। बिहार लोक सेवा आयोग ने 1 लाख 70 हजार 461 पद के लिए बहाली निकली थी।
कक्षा एक से पांच तक के लिए कुल 79 हजार 943 पद, क्लास 9 से 10 तक के लिए कुल 32 हजार 916 और क्लास 11 से 12वीं तक के लिए 57 हजार 602 पद की बहाली निकली थी।
सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान शिक्षक बहाली की सुनवाई करते हुए प्राथमिक शिक्षक के लिए डिप्लोमाधारी को योग्य करार दिया है। इसके बाद बीएड पास कैंडिडेट की नियुक्ति अधर में लटक गई।