Bihar Teacher News: शिक्षा के मंदिर में अब ‘छुट्टी’ शब्द की मनमानी पर लगाम लग चुकी है। रंगीन सपनों को सजाने वाले शिक्षकों की अवकाश यात्रा पर शिक्षा विभाग ने नया मैप जारी कर दिया है।
Bihar Teacher News: बिहार में अब शिक्षकों की ‘छुट्टी’ पर कड़ा पहरा, WhatsApp-फोन पर नहीं मिलेगी लीव, जानें नए नियम
Bihar Teacher News: क्या हैं बिहार के नए अवकाश नियम?
Bihar Teacher News: बिहार शिक्षा विभाग ने शिक्षकों के अवकाश संबंधी नियमों में महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं। अब ग्रीष्मावकाश, दुर्गा पूजा, दीपावली और छठ पूजा जैसी लंबी छुट्टियों के साथ आकस्मिक अवकाश (CL) को जोड़कर लेने की प्रथा को पूरी तरह से समाप्त कर दिया गया है।
नए नियम के अनुसार, अगर कोई शिक्षक गर्मियों की छुट्टी या किसी त्योहार की लंबी छुट्टी के साथ अपनी सीएल को जोड़ना चाहता है, तो उसे इसकी अनुमति नहीं मिलेगी। यह कदम शिक्षकों की उपस्थिति सुनिश्चित करने और शैक्षणिक सत्र में निरंतरता बनाए रखने के उद्देश्य से उठाया गया है।
इसके साथ ही, अवकाश के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया में भी बड़ा बदलाव किया गया है। अब वाट्सएप (WhatsApp) या फोन कॉल के माध्यम से छुट्टी स्वीकृत नहीं की जाएगी। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। शिक्षकों को अवकाश के लिए निर्धारित प्रक्रिया का पालन करना होगा, जो कि पहले की तुलना में अधिक औपचारिक और दस्तावेजी होगी। यह सुनिश्चित करेगा कि सभी अवकाश आवेदनों का एक उचित रिकॉर्ड रखा जाए और मनमानी पर रोक लगे।
प्रधान शिक्षक और प्रधानाध्यापकों की जिम्मेदारी भी बढ़ गई है। उन्हें अब प्रत्येक शिक्षक के अवकाश का अलग और विस्तृत रिकॉर्ड एक छुट्टी रजिस्टर में रखना अनिवार्य होगा। यह रजिस्टर हर शिक्षक की उपस्थिति और अनुपस्थिति का सटीक ब्यौरा देगा, जिससे पारदर्शिता बनी रहेगी। इन नए देश की हर बड़ी ख़बर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें शिक्षक अवकाश नियम से स्कूल प्रशासन और शिक्षा विभाग दोनों को शिक्षकों की उपलब्धता का सही आकलन करने में मदद मिलेगी। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1।
यह फैसला बिहार में शिक्षा व्यवस्था को और अधिक सुदृढ़ बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। इसका मकसद शिक्षकों की जवाबदेही तय करना और बच्चों की पढ़ाई को किसी भी तरह से बाधित होने से रोकना है। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1।
अवकाश प्रक्रिया में पारदर्शिता और जवाबदेही
शिक्षा विभाग के अधिकारियों का मानना है कि इन बदलावों से स्कूलों में शिक्षकों की नियमित उपस्थिति सुनिश्चित होगी और छात्रों को बेहतर शैक्षणिक वातावरण मिल पाएगा। यह प्रणाली न केवल शिक्षकों को उनकी जिम्मेदारियों के प्रति अधिक सचेत करेगी, बल्कि इन सख्त शिक्षक अवकाश नियम को लेकर किसी भी प्रकार की भ्रम की स्थिति को भी दूर करेगी। आने वाले समय में इन नियमों का अनुपालन कैसे होता है, यह देखना दिलचस्प होगा।




