
दरभंगा के डॉक्टरों ने जो बताया जान लीजिए… बचपन की छोटी एलर्जी बन सकती है दमा तक – डॉक्टरों ने दी बड़ी चेतावनी! क्या आपके बच्चे को एलर्जी है? डॉक्टर बोले – समय रहते इलाज न हुआ तो बढ़ेगा खतरा।@प्रभास रंजन, दरभंगा, देशज टाइम्स।
दरभंगा:डॉक्टर्स की चेतावनी–एटॉपिक डर्मेटाइटिस से दमा तक – जानिए क्या है ‘Allergy March’
एटॉपिक डर्मेटाइटिस से शुरू होकर दमा तक – जानिए क्या है ‘एलर्जी मार्च’। जंक फूड से बढ़ रही है फूड एलर्जी! डॉक्टरों ने बताई चौंकाने वाली सच्चाई। बच्चों में बढ़ रही फूड एलर्जी, डॉक्टरों ने रिसर्च की बताई ज़रूरत। दरभंगा में डॉक्टर्स की चेतावनी – एलर्जी को हल्के में न लें, दमा बन सकती है जानलेवा बीमारी@दरभंगा, देशज टाइम्स।
बच्चों में एलर्जी की शुरुआत एटॉपिक डर्मेटाइटिस से, दरभंगा के वरिष्ठ डॉक्टरों ने दी अहम सलाह
दरभंगा, देशज टाइम्स। बच्चों में एलर्जी की समस्या अक्सर एटॉपिक डर्मेटाइटिस (Atopic Dermatitis) से शुरू होती है। इसके बाद धीरे-धीरे फूड एलर्जी (Food Allergy), हे फीवर (Hay Fever), एलर्जिक राइनाइटिस (Allergic Rhinitis) और दमा (Asthma) तक बढ़ सकती है। इस क्रम को एटॉपिक मार्च (Atopic March) कहा जाता है।
शुरुआती इलाज से बच सकती है गंभीर एलर्जी
कार्यक्रम में विशेषज्ञों ने बताया कि यदि एटॉपिक डर्मेटाइटिस की पहचान शुरुआती समय पर कर ली जाए और सही इलाज शुरू किया जाए, तो आगे चलकर एलर्जिक राइनाइटिस और दमा जैसे गंभीर रोगों से बचाव संभव है।
दरभंगा में आयोजित सीएमई कार्यक्रम
यह बातें डॉ. इशरत परवीन ने स्थानीय होटल में इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स (IAP) की ओर से आयोजित सीएमई (CME) कार्यक्रम में कहीं। उन्होंने एटॉपिक डर्मेटाइटिस के इलाज के विभिन्न चरणों और नई सुरक्षित दवाओं पर विस्तार से चर्चा की।
विशेषज्ञों ने रखे अपने विचार
डॉ. के एन मिश्रा (अध्यक्ष, IAP) और डॉ. मणिशंकर (अध्यक्ष, MNF) ने कार्यक्रम की संयुक्त अध्यक्षता की। डॉ. ओम प्रकाश और डॉ. मणिशंकर ने बताया कि अब बड़ों में भी फूड एलर्जी तेजी से बढ़ रही है। डॉ. ओम प्रकाश ने स्थानीय स्तर पर फूड एलर्जी के मरीजों पर रिसर्च करने की आवश्यकता बताई, ताकि कारण और निदान स्पष्ट हो सके। डॉ. के एन मिश्रा ने जंक फूड को फूड एलर्जी का बड़ा कारण बताया।
कार्यक्रम में शामिल प्रमुख डॉक्टर
इस मौके पर डॉ. एससी यादव, डॉ. साजिद हुसैन, डॉ. मिथिलेश सिंह, डॉ. ओपी झा सहित कई शिशु रोग विशेषज्ञ मौजूद रहे। भाग लेने वालों में डॉ. कामोद झा, डॉ. विवेकानंद पाल, डॉ. अमरेश कुमार साहू, डॉ. कुमार आनंद, डॉ. विनोद कुमार सिंह, डॉ. अरविंद कुमार यादव आदि शामिल थे।