दरभंगा, देशज टाइम्स ब्यूरो। दरभंगा, समाहरणालय अविस्थत बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर सभागार में जिलाधिकारी राजीव रौशन की अध्यक्षता में बाढ़ के दौरान सर्पदंश से हुई मृत्यु के मृतकों के आश्रितों को 04 लाख रूपए का अनुग्रह अनुदान राशि के लंबित भुगतान को लेकर बैठक हुई।
बैठक में सभी संबंधित थानाध्यक्ष,अंचलाधिकारी, विधि विज्ञान प्रयोगशाला, मुजफ्फरपुर के सहायक निदेशक, शव परीक्षण करने वाले चिकित्सक, सिविल सर्जन, आपदा प्रबंधन के प्रभारी पदाधिकारी (Ex-gratia grant for snakebite victims) के साथ समीक्षा की गयी।
बैठक में प्रभारी पदाधिकारी, जिला आपदा प्रबंधन सत्यम सहाय ने बताया कि सर्पदंश से मृत्यु के 15 मामले ऐसे प्रतिवेदित हैं, जिनमें विधि विज्ञान प्रयोगशाला मुजफ्फरपुर से बिसरा रिपोर्ट अप्राप्त है और 02 मामले में पोस्टमार्टम रिपोर्ट नहीं है। इनमें सिंहवाड़ा और बिरौल अंचल के 04-04, जाले और बहादुरपुर अंचल के 03-03, कुशेश्वरस्थान, किरतपुर एवं अलीनगर अंचल के 01-01 मामले हैं।
जिलाधिकारी ने पूर्व के लंबित बिसरा रिपोर्ट प्राप्त करने के लिए सहायक निर्देशक, विधि विज्ञान प्रयोगशाला, मुजफ्फरपुर के साथ जिला आपदा प्रबंधन कार्यालय के एक लिपिक के साथ दो पुलिस कर्मी को प्रतिनियुक्त करते हुए निर्देश दिया कि वे सहायक निर्देशक के सम्पर्क में रहेंगे और जैसे-जैसे पूर्व का लंबित रिपोर्ट प्राप्त होगा, वैसे-वैसे तत्काल रिपोर्ट लाना सुनिश्चित करेंगे।
उन्होंने सभी थाना प्रभारी एवं अंचलाधिकारी को निदेशित किया कि सर्पदंश के मामलें में फोटोग्राफ संलग्न किया जाए, जिसमें सर्पदंश के चिन्ह् दिखायी दे। शव परीक्षण करने वाले चिकित्सक ने बताया कि बिहार में दो प्रकार के सर्प के काटने से ही ज्यादातर मृत्यु होती है।उसमें दोनों दांत का हलना आवश्यक है। सर्प के दोनों दांत की दूरी आधा इंच से अधिक नहीं होती है। जहर सर्प के निचले दाँत में होता है और उस दाँत का पूरा हलना भी आवश्यक है। यदि कपड़े के ऊपर से साँप काटता है, तो उसका निचला दाँत पूरा नहीं हल पाता है और इस प्रकार जहर की संभावना क्षीण हो जाती है।
शव परीक्षण करने वाले चिकित्सक ने बताया कि बिहार में दो प्रकार के सर्प के काटने से ही ज्यादातर मृत्यु होती है। इसमें दोनों दांत का हलना आवश्यक है। सर्प के दोनों दांत की दूरी आधा इंच से अधिक नहीं होती है। जहर सर्प के निचले दांत में होता है। उस दांत का पूरा हलना भी आवश्यक है। यदि कपड़े के ऊपर से सांप काटता है, तो उसका निचला दांत पूरा नहीं हल पाता है। इस प्रकार जहर की संभावना क्षीण हो जाती है।
जिलाधिकारी ने वैसे मामलें जिनमें शव परीक्षण एवं बिसरा रिपोर्ट उपलब्ध था, उसकी स्वीकृति प्रदान कर दी। बैठक में अपर समाहर्त्ता (राजस्व) विभूति रंजन चौधरी, अनुमंडल पदाधिकारी, बिरौल संजीव कुमार कापर, प्रशिक्षु आईपीएस बिक्रम सिंहाम, सिविल सर्जन डॉ.अनिल कुमार, उप निदेशक, जन सम्पर्क नागेन्द्र कुमार गुप्ता, प्रभारी पदाधिकारी आपदा प्रबंधन सत्यम सहाय एवं अन्य संबंधित पदाधिकारीगण उपस्थित थे।
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