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24 नवम्बर, 2024
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Darbhanga के जाले में कृषि विकास और किसानी में युवाओं की सहभागिता तलाशने पहुंचे पूर्व सांसद हुक्मदेव नारायण

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देशज टाइम्स ब्यूरो, जाले। पूर्व पद्मभूषण प्राप्त सांसद हुकुमदेव नारायण यादव ने कृषि विज्ञान केंद्र जाले में आयोजित कृषि विकास वैज्ञानिक चिंतन कार्यक्रम में कहा कि लगातार जलवायु में परिवर्तन और उस परिवर्तन के अनुकूल कृषि को संभालने के लिए युवाओं की भागीदारी अहम है।

कहा कि जिस तरह कृषि में नए-नए शोध हो रहे हैं उन शोधों को समझ कर युवा ही नए नए तकनीक से कृषि के क्षेत्र में नवयुवक ही पीरो सकते हैं।

उन्होंने जिले की भौगोलिक दशा दिशा पर कहा कि जिला बाढ़ प्रभावित क्षेत्र है। ऐसे में किसान जलवायु अनुकूल खेती कर बेहतर उत्पादन पा सकते हैं।

कृषि विज्ञान केंद्र के प्रधान डॉ. दिव्यांशु शेखर के संचालन में किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि पूर्व सांसद हुकुमदेव नारायण यादव सहित कार्यक्रम में उनके साथ आए सभी अतिथियों को चादर देकर सम्मानित किया।

कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य जिले में कम बारिश की वजह से खरीफ फसलों की क्षति और उससे उबरने के लिए वैकल्पिक फसलों के चयन के बारे में चर्चा करना था।

कार्यक्रम के संबोधित करते हुए युवा कृषकों से पद्मभूषण पूर्व सांसद हुकुमदेव ने बताया कि लगातार जलवायु में परिवर्तन और उसे परिवर्तन के अनुकूल कृषि को संभालने के लिए युवाओं की भागीदारी अहम है।

कार्यक्रम के दौरान केंद्र के अध्यक्ष डॉ. दिव्यांशु शेखर ने जलवायु अनुकूल खेती की जानकारी देते हुए बताया कि मौसम में परिवर्तन होता रहता है। जिससे मौसम का दुष्प्रभाव फसलों पर पड़ता है, और उत्पादन पर असर पड़ता है।

उन फसलों को मौसम के दुष्प्रभाव से बचाने हमें उन्हीं के अनुकूल ढालना होगा। उन्होंने कहा की कहा कि अगर हम बदलते मौसम के आंकड़े को सटीकता से देखें तो यह मौसम मोटे अनाजों की खेती के  के अनुकूल है। मोटे अनाज हमारे सेहत के लिए फायदेमंद है।

कार्यक्रम के दौरान केंद्र के पौध संरक्षण वैज्ञानिक डॉ. गौतम कुणाल प्रक्षेत्र प्रबंधक डॉ चंदन कुमार समेत सैकड़ों युवा एवम उत्कृष्ट किसान दिग्विजय सिंह राघवेंद्र प्रसाद अनिल कुमार मिश्र सब्बू सिंह समेत क्षेत्र के गणमान्य लोग उपस्थित थे।

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