

घनश्यामपुर | कमला नदी के जलस्तर में लगातार वृद्धि से स्थिति गंभीर होती जा रही है। दोनों तटबंधों के बीच बसे आधा दर्जन से अधिक गांव अब टापू में तब्दील हो गए हैं।
झंझारपुर गेज पर नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 1.07 मीटर ऊपर बह रहा है।
डूब क्षेत्र के गांवों में अफरा-तफरी, हजारों लोग पलायन को मजबूर
बाउर, नवटोलिया, कनकी मुसहरी, बैद्यनाथपुर, कैथाही, गिदराही, रसियारी पुनर्वास टोल, जमरीडीह मुसहरी जैसे गांवों में करीब दस हजार की आबादी बाढ़ की चपेट में है।
गांव के निचले इलाकों में पानी भरने से अफरा-तफरी मची है। दो दर्जन से अधिक घरों में बाढ़ का पानी घुस चुका है, जिससे लोग बाल-बच्चों और मवेशियों के साथ ऊंचे स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं।
सड़क संपर्क टूटा, स्कूलों में घुसा पानी
घनश्यामपुर-बाउर प्रधानमंत्री ग्राम सड़क पर चार से पांच फीट तक पानी बह रहा है। गांवों का जिला मुख्यालय से संपर्क भंग हो गया है।
मध्य विद्यालय रसियारी, मध्य विद्यालय नवटोलिया, प्राथमिक विद्यालय कनकी मुसहरी, मध्य विद्यालय बाउर सहित आधे दर्जन स्कूलों में पानी घुसने से पठन-पाठन ठप है। मिड-डे-मील (Mid Day Meal) भी बंद हो गया है।
खेती-बारी डूबी, भूख और चारे की किल्लत
खेत-खलिहान डूबने से खरीफ फसल और मौसमी सब्जियां चौपट हो गई हैं। ग्रामीणों के सामने पशु चारा, खाद्यान्न, पेयजल और सुखे ईंधन की समस्या गंभीर होती जा रही है।
रोजमर्रा की जरूरतों के लिए लोग अब नाव से आवाजाही कर रहे हैं।
तटबंध पर दबाव, विभाग ने बढ़ाई चौकसी
नदी के तेज बहाव से तटबंधों पर दबाव बढ़ गया है।बोरे में मिट्टी भरकर तटबंध को मजबूत किया जा रहा है, वहीं रेन कट और फुट कट की मरम्मत जारी है।
बाढ़ प्रमंडल झंझारपुर-2 के एई विनय कुमार ने बताया
स्थिति नियंत्रण में है और तटबंध पूरी तरह सुरक्षित है।
प्रशासन की राहत कार्रवाई: 500 परिवारों को पॉलिथीन, 16 नावें चल रहीं
आरओ नीलोफर मलिक ने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का जायजा लिया और 500 परिवारों के बीच पॉलिथीन शीट्स का वितरण किया।
उन्होंने बताया कि फिलहाल 16 सरकारी नावों का परिचालन किया जा रहा है ताकि ग्रामीणों को राहत पहुंचाई जा सके।








