दरभंगा के जाले में पानी के लिए हाहाकार! लोग गैलन-ठेले से ढो रहे हैं पानी। सूख गए चापाकल, नल बन गया शोपीस! दरभंगा के कई पंचायतों में पानी के लिए त्राहिमाम।पीएचइडी का सिस्टम ठप! जाले के गांवों में प्यास बुझाने को मचा हाहाकार।@जाले-देशज टाइम्स।
“मतदाता पुनरीक्षण में मस्त, जनता जल संकट से त्रस्त!” –फूटा गुस्सा,मोबाइल बंद, अधिकारी गायब – कौन सुनेगा पुकार?
“मतदाता पुनरीक्षण में मस्त, जनता जल संकट से त्रस्त!” – ग्रामीणों का फूटा गुस्सा। जाले के पंचायतों में जल संकट! मोबाइल बंद, अधिकारी गायब – कौन सुनेगा जनता की पुकार?बिना पानी जी रहे लोग, पीएचइडी अधिकारी गायब! जाले में जल संकट ने तोड़ी हदें।पंचायतों में नल शोभा की वस्तु, चापाकल दम तोड़ चुका! प्रशासन बना तमाशबीन@जाले-देशज टाइम्स।
Bullet Points: ग्रामीण पानी के लिए कर रहे संघर्ष
जाले प्रखंड की कई पंचायतों में चापाकल पूरी तरह सूखे। नल-जल योजना बंद, पीएचईडी की लापरवाही उजागर। ग्रामीण पानी के लिए कर रहे संघर्ष। सरकारी अधिकारी फोन नहीं उठा रहे, कोई समाधान नहीं। मुखिया और सरपंच ने BDO से की राहत की मांग। प्रशासन सिर्फ कागजी कार्रवाई में व्यस्त।@जाले-देशज टाइम्स।
Water Crisis in Jalley | पानी के लिए त्राहिमाम! दरभंगा के जाले प्रखंड में चापाकल सूखे, नल-जल योजनाएं ठप
जाले-देशज टाइम्स। बादलों की मौजूदगी के बावजूद बारिश न होने से दरभंगा जिले के जाले प्रखंड में भीषण जलसंकट की स्थिति उत्पन्न हो गई है। ब्रह्मपुर पश्चिमी, कछुआ, रतनपुर, राढ़ी पश्चिमी सहित लगभग सभी पंचायतों में चापाकल सूख चुके हैं, जिससे पीने के पानी सहित अन्य घरेलू जरूरतों के लिए लोग परेशान हैं।
Water Crisis in Jalley | नल-जल योजना हुई फेल, टंकी बनी शोभा की वस्तु
ग्रामीणों का कहना है कि जब तक नल-जल योजना पंचायती राज विभाग के अधीन थी, दिन में दो से तीन बार पानी की आपूर्ति होती थी। अब पीएचईडी विभाग को जिम्मेदारी मिलने के बाद अधिकांश पंचायतों में नल पूरी तरह बंद पड़े हैं। टंकियां और पाइपलाइन सिर्फ दिखावे की वस्तु बनकर रह गई हैं।
Water Crisis in Jalley | जल संकट से जूझते लोग, ठेले और बाइक से ढो रहे पानी
चापाकलों के सूखने से लोग दूरदराज से गैलन, ड्रम, साइकिल, ठेले पर पानी ढो रहे हैं। कई वार्डों में पीने का पानी तक नहीं बचा है। ग्रामीणों को रोजमर्रा के कार्यों में अत्यधिक कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
प्रशासन बेपरवाह, वोटर सूची पुनरीक्षण में व्यस्त
ब्रह्मपुर पश्चिमी पंचायत की मुखिया पल्लवी रानी, राजीव ठाकुर समेत ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि
“पूरा पंचायत जल संकट से त्रस्त है लेकिन प्रशासन मूक दर्शक बनकर सिर्फ मतदाता पुनरीक्षण कार्य में जुटा है।”
जनप्रतिनिधियों ने मांगा राहत, अधिकारी नहीं उठा रहे फोन
कछुआ पंचायत की सरपंच नीला देवी ने प्रखंड विकास पदाधिकारी (BDO) को आवेदन देकर जल संकट से निजात दिलाने की मांग की है।
ग्रामीणों का आरोप है कि, PHED के SDO और JE फोन नहीं उठा रहे। JE नीतू चौहान का मोबाइल हमेशा बंद बताता है। शिकायतों का कोई जवाब नहीं मिल रहा।
ग्रामीणों का गुस्सा फूटा
लतराहा, मनमा, और ब्रह्मपुर पश्चिमी के ग्रामीण जैसे संजय पूर्वे, अभिषेक पूर्वे, पवन पूर्वे, दिलीप कुशवाहा, कुंदन कुमार, निरंजन ठाकुर, आशुतोष कुमार ने कहा:
“सरकार ने नल-जल के नाम पर करोड़ों खर्च किए, लेकिन आज एक बूँद पानी के लिए हमें संघर्ष करना पड़ रहा है।”