

दरभंगा | जिले के केवटी प्रखंड में भीषण पेयजल संकट उत्पन्न हो गया है। बरही, ननौरा, कोयलास्थान, केवटी, पैगंबरपुर, लहवार, मझिगामा, शेखपुर दानी, कर्जापट्टी, माधोपट्टी और कोठिया पंचायतों में सैकड़ों हैंडपंप सूख चुके हैं और नल जल योजना (Har Ghar Nal Ka Jal) पूरी तरह से जर्जर हो चुकी है।
हैंडपंपों से बंद हुआ जल, ग्रामीण परेशान
ग्रामीणों की मानें तो पिछले एक सप्ताह से हैंडपंप से पानी नहीं निकल रहा है, जिससे सैकड़ों लोग पानी के लिए इधर-उधर भटक रहे हैं।
बरही पंचायत वार्ड-13 के राजा साह, राम बाबू साह, प्रमोद साह, दिलीप साह, विनोद दास आदि के घरों में पिछले एक सप्ताह से हैंडपंप से पानी नहीं आ रहा है।
ननौरा पंचायत वार्ड-12 और 13 के राम ईश्वर, कैलाश यादव, राम श्रेष्ठ राय, राम देव यादव, प्रीतम यादव और महेश यादव सहित दर्जनों परिवार भी पानी के संकट से जूझ रहे हैं।
विरखौली और अन्य गांवों में भी स्थिति भयावह
विरखौली गांव के राम श्रेष्ठ राय, राम देव यादव, प्रीतम यादव ने बताया कि लगभग सात दिनों से एक बूंद पानी भी नहीं मिला है। लोग मजबूरी में दूर-दराज के इलाकों से पानी लाकर अपना गुजारा कर रहे हैं।
नल जल योजना की हालत बेहद खराब
ग्रामीणों ने बताया कि “नल जल योजना” की हालत इतनी खराब है कि कोई सप्लाई नहीं हो रही। टंकियां टूटी हैं, पाइपलाइनें लीकेज हैं और मशीनें बंद पड़ी हैं।
मुखिया प्रतिनिधि ने जताया रोष
कोयलास्थान पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि विक्रांत साह ने बताया कि पंचायत के लगभग सभी वार्डों (1 से 15) में हैंडपंप सूख चुके हैं। उन्होंने बताया:
“लोग मेरे घर आकर आक्रोश व्यक्त कर रहे हैं। हमने पीएचईडी (P.H.E.D.) विभाग के जेई, वरीय पदाधिकारी और बीडीओ से लिखित और मौखिक शिकायत की है। 10 दिन हो गए, लेकिन अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।”
स्थानीय प्रशासन की पहल शुरू
बीडीओ सुश्री रूखसार ने बताया कि जहां भी जल संकट की शिकायतें मिली हैं, वहां मरम्मत कार्य शुरू कर दिया गया है। उन्होंने कहा:
“माधोपट्टी, कर्जापट्टी, कोठिया और शेखपुर दानी पंचायत में पीएचईडी द्वारा ट्रैक्टर पर टंकी लादकर पानी की आपूर्ति शुरू कर दी गई है। बाकी जगहों पर भी काम जारी है।”
ग्रामीणों में बढ़ता आक्रोश, जनप्रतिनिधियों पर दबाव
लगातार जल संकट से ग्रामीणों में आक्रोश है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द समाधान नहीं हुआ, तो वे प्रखंड कार्यालय का घेराव करेंगे।
स्थानीय जनप्रतिनिधि और पंचायत समिति सदस्य भी अब पीएचईडी और बीडीओ पर दबाव बनाने में जुटे हैं।
पेयजल संकट की मुख्य वजहें
भूमिगत जल स्तर में गिरावट
हैंडपंपों की नियमित मरम्मत नहीं
नल जल योजना का समय पर रखरखाव न होना
समय पर बजट स्वीकृति और उपयोग नहीं होना







