Baby Exchange: माँ का आँचल और अस्पताल का भरोसा, दोनों ही शिशु के लिए सबसे सुरक्षित स्थान माने जाते हैं। लेकिन जब यही विश्वास तार-तार हो जाए, तो समाज में एक गहरा सवाल खड़ा हो जाता है। ऐसा ही कुछ हृदय विदारक मामला लखीसराय के सूर्यगढ़ा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में सामने आया है, जहाँ प्रसव के बाद एक नवजात को दूसरे बच्चे से बदल दिए जाने का आरोप लगा है।
Baby Exchange: क्या हुआ सूर्यगढ़ा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में?
लखीसराय के सूर्यगढ़ा स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में रविवार को एक बेहद चौंकाने वाली घटना सामने आई। एक महिला ने अस्पताल में बच्चे को जन्म दिया, लेकिन प्रसव के बाद उसके परिवार ने आरोप लगाया कि उनका बच्चा किसी दूसरे नवजात से बदल दिया गया है। इस सूचना के साथ ही अस्पताल परिसर में भारी हंगामा मच गया, आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। परिजनों ने अस्पताल प्रशासन पर घोर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कड़ी कार्रवाई की मांग की है।
परिजनों के अनुसार, महिला का प्रसव सामान्य तरीके से हुआ था। जन्म के तुरंत बाद नवजात को देखकर परिवार के लोग बेहद खुश थे, लेकिन कुछ ही देर बाद उन्हें महसूस हुआ कि जो बच्चा उन्हें सौंपा गया है, वह उनका नहीं है। उनका दावा है कि जन्म के समय उनके बच्चे का रंग-रूप अलग था, जबकि बाद में दिए गए बच्चे का रंग-रूप और शारीरिक बनावट पहले वाले से भिन्न थी। इस गंभीर आरोप ने अस्पताल में हड़कंप मचा दिया।
अस्पताल में लापरवाही का यह मामला एक बार फिर स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता पर सवालिया निशान खड़ा करता है। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है और वे अपने बच्चे को वापस पाने के लिए अथक प्रयास कर रहे हैं। इस घटना के बाद स्थानीय पुलिस को भी सूचना दी गई, जो मौके पर पहुंचकर मामले की जांच में जुट गई है। पुलिस अधिकारियों ने परिजनों को निष्पक्ष जांच का आश्वासन दिया है। देश की हर बड़ी ख़बर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
आरोपों की जांच और प्रशासनिक कार्रवाई
अस्पताल प्रशासन ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए आंतरिक जांच शुरू कर दी है। अस्पताल के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि वे सभी सीसीटीवी फुटेज खंगाल रहे हैं और ड्यूटी पर मौजूद सभी कर्मचारियों से पूछताछ की जा रही है। उन्होंने कहा कि यदि किसी भी स्तर पर लापरवाही पाई जाती है, तो दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी। यह घटना न केवल प्रभावित परिवार के लिए, बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए एक संवेदनशील मुद्दा बन गई है। ऐसे में निष्पक्ष और त्वरित जांच ही लोगों के भरोसे को बहाल कर सकती है। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1।




