

बिहार में एक तरफ शिक्षकों की नियुक्ति लगातार हो रही है। वहीं, कार्रवाई भी दनदन हो रहे हैं। वहीं उन स्कूलों के लिए सरकार खुशखबरी देने जा रही है जहां लंबे अर्से से हेडमास्टरों की (More than 11 thousand posts of head teachers will be reinstated soon) कमी है।
इसके तहत सरकारी स्कूल के प्रधानाध्यापकों के ग्यारह हजार से अधिक पदों पर जल्द बहाली सरकार करने जा रही है। इसके साथ ही शिक्षकों के लिए भी खुशखबरी है जहां शिक्षकों को स्कूल के पास ही सरकार आवास देगी। इन तैयारियों में जुटा शिक्षा विभाग लगातार शिक्षकों को लेकर अपडेट जारी कर रहा है। पढ़िए पूरी खबर
सबसे पहले अगर आप भी सरकारी स्कूलों में शिक्षक बनना चाहते हैं तो सबसे पहले यह जान लीजिए… बिहार में इस समय दूसरे चरण की शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया चल रही है। इसी क्रम में बिहार लोक सेवा आयोग की ओर से एक ताजा नोटिफिकेशन जारी किया गया है। इसमे कहा गया है कि कक्षा से पांच तक की कक्षाओं में 9 हजार से अधिक शिक्षक पदों पर भर्ती के लिए कैंडिडेट्स आज, 16 नवंबर, 2023 से आवेदन फॉर्म भर सकते हैं।
बिहार में कई ऐसे सरकारी स्कूल हैं, जहां प्रधानाध्यापक के पद खाली है। अब जल्द ही इन स्कूल में प्रधानाध्यापक के पदों के लिए भर्ती होगी। शिक्षा विभाग ने इसके लिए तैयारियां शुरू कर रही है। जो अभ्यर्थी प्रधानाध्यापक बनना चाहते हैं उनके लिए बड़ी खुशखबरी आई है। बिहार सरकार ने सरकारी स्कूल के खाली पड़े प्रधानाध्यापक के 11 हजार 334 पदों जल्द बहाली करने की घोषणा की है।
जानकारी के अनुसार हाई स्कूल और प्लस टू स्तर के विद्यालयों में खाली पड़े 11 हजार 334 प्रधानाध्यापक के रिक्त पदों को भरने के लिए बहाली निकाली जाएगी। वैसे, अभी शिक्षा विभाग की ओर से 11 हजार 334 प्रधानाध्यापक के पदों पर बहाली को लेकर अधियाचना नहीं भेजी गई है।
शिक्षा विभाग की अधियाचना पर ही बीपीएससी की ओर से बहाली को लेकर विज्ञापन निकाला जाएगा. इसके बाद ही इच्छुक अभ्यर्थी आवेदन कर पाएंगे। वैसे, इस बार प्रधानाध्यापक पद पर भर्ती के लिए अभ्यर्थियों को आवश्यक अनुभव में भी छूट दी जा रही है। अनुभव में छूट को लेकर प्रस्ताव को बिहार राज्य माध्यमिक विद्यालय प्रदानाध्यापक नियमावली 2023 के तहत कैबिनेट से पहले ही स्वीकृति मिल चुकी है।
अब नौवी और दसवीं यानी की हाईस्कूल में प्रधानाध्यापक बनने के लिए सिर्फ 8 साल के अनुभव की दरकार होगी। पहले 12 साल का अनुभव जरूरी थी। इसी तरह प्लस टू स्कूलों में प्रधानाध्यापक बनने के लिए चार साल का अनुभव होना जरूरी है. पहले 6 साल के अनुभव की जरूरत होती थी।
वहीं, बिहार में शिक्षकों की बहाली के बाद अब उन्हें आवास की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। जिसके लिए कैबिनेट में प्रस्ताव भेजा जाएगा। इसके लिए नीति बनाई जा रही है। कैबिनेट की मंजूरी मिलने के बाद इसपर अमल होगा।
हालांकि, इसको लेकर शिक्षा संबंधित मकान मालिकों और रियल एस्टेट कंपनियों से सुझाव मांगे थे। जिसको लेकर एक गोष्ठी का भी आयोजन किया गया। इस गोष्ठी में कई लोगों ने अपना आवास किराये पर देने के लिए सहमति दी है।
इसको लेकर प्रमंडलवार गोष्ठी विभागीय पदाधिकारियों ने संबंधित मकान मालिकों के साथ की। हर प्रमंडल से पांच से दस लोग गोष्ठी में पहुंचे थे। लोगों द्वारा दिए गए सुझावों पर भी विभाग एक रिपोर्ट तैयार कर रहा है। इस रिपोर्ट का अध्यन कर आवास के लिए नीति बनाई जाएगी।
इस दौरान ज्यादातर लोगों ने मकान के बदले मिलने वाली किराए की राशि के बारे में पूछा गया। लोगों ने यह भी कहा कि खासकर शहरी इलाकों में शिक्षकों को जो मकान किराया भत्ता मिलता है, उतने किराये पर आवास देना मुश्किल होगा।
वहीं, अगर आप शिक्षक बनना चाहते हैं तो यह जान लीजिए…इसके लिए अभ्यर्थियों के पास 25 नवंबर, 2023 तक का समय है। अंतिम तिथि बीतने के बाद कोई आवेदन फॉर्म स्वीकार नहीं किया जाएगा। इसलिए इस बात का ध्यान रखें।
प्राइमरी शिक्षकों की भर्ती के लिए आवेदन करने वाले इच्छुक और योग्य उम्मीदवारों को सलाह दी जाती है कि वे आधिकारिक वेबसाइट https://www.bpsc.bih.nic.in/ पर संबंधित भर्ती से जुड़ा नोटिफिकेशन चेक करके अप्लाई कर सकते हैं।
जारी सूचना में कहा गया है कि कैंडिडेट्स को राज्य सरकार या फिर केंद्र सरकार की ओर से आयोजित होने वाली शिक्षक पात्रता परीक्षा में सफल होना चाहिए जैसे- प्राइमरी शिक्षकों के अध्यापकों के लिए आवेदन करने वाले उम्मीदवार को सीटीईटी पेपर 1 या BTET पेपर में पास होना चाहिए। इस वैकेंसी के लिए उम्मीदवारों के पास डीएलएड की डिग्री होना अनिवार्य है।








