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23 नवम्बर, 2024
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Street Light Scam in Gaighat | Muzaffarpur के गायघाट में स्ट्रीट लाइट घोटाला!

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मुजफ्फरपुर जिले के गायघाट से इस समय की बड़ी खबर आ रही है जहां स्ट्रीट लाइट घोटाला हुआ है। यह घोटाला पंचायतों में मुखिया निधि से लगी स्ट्रीट लाइट व एलईडी स्ट्रीट लाइट योजना में (Street light scam in Gaighat, Muzaffarpur!) की गई है।

मामला अब डीएम तक पहुंचेगा

ग्राम पंचायतों में लगाई गई स्ट्रीट लाइट की खरीद में कथित अनियमितता को लेकर स्थानीय ग्रामीणों ने भी शिकायत की थी। वहीं मामला अब डीएम तक पहुंचेगा। वहीं,जिला पंचायती राज पदाधिकारी ने कहा है कि इसकी पूरी तह तक जांच होगी। पढ़िए दीपक कुमार की यह रिपोर्ट…

पंचायतों में लाइट खरीदने में अनियमितता

गायघाट के पंचायतों में मुखिया निधि से लगी स्ट्रीट लाइट व एलईडी स्ट्रीट लाइट योजना में भारी अनियमितता की शिकायत मिली है। कई पंचायतों में लगी सोलर व एलईडी स्ट्रीट लाइट जलने के साथ ही खराब हो गयी तो कई पंचायतों में लाइट खरीदने को लेकर अनियमितता बरती गई।

यही है शिकायत, हुआ वित्तीय शक्ति का गलत उपयोग

लक्षमण नगर पंचायत में मुखिया की ओर से वित्तीय शक्ति का गलत उपयोग कर वास्तविक कीमत से कई गुना अधिक कीमत में स्ट्रीट लाइट लगायी गई है, जिसको लेकर ग्रामीण महेश कुमार ने डीएम को आवेदन देकर शिकायत की है।

स्ट्रीट लाइट की होगी जांच

उक्त शिकायत के आधार पर पंचायतों में मुखिया निधि से लगी एलईडी स्ट्रीट लाइट की जांच होगी। यह जानकारी जिला पंचायती राज पदाधिकारी ने दी। जिला पंचायती राज पदाधिकारी ने कहा कि पंचायतों में लगायी जा रही एलईडी लाइट की मॉनिटरिंग संबंधित पंचायत के मुखिया को ही करनी है।

विभाग को अंधेरे में रखकर लगाई गईं लाइट

लाइट लगाने में किसी प्रकार की अनियमितता या गुणवत्ता में किसी तरह की शिकायत मिली तो जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। बताया गया कि जिले के कई पंचायतों में मुखिया की ओर से विभाग को अंधेरे में रखकर अपने स्तर से मनमानी कर लाइट लगाई गई जो लगने के साथ खराब हो रही है।

पंचायतों से रोशनी गायब

मुखिया वार्डवार ग्रामीणों की सहमति पर लाइट लगवाने के लिए प्वाइंट निर्धारित कर लाइट लगा रहे हैं लेकिन अधिकतर पंचायतों में कुछ ही दिनों में उसकी रोशनी गायब होने लगी। ग्रामीणों का कहना है कि कंपनी घटिया क्वालिटी की स्ट्रीट लाइट लगवा रही है।

टेंडर के नियमों की अनदेखी

बताया गया कि जांच के क्रम में लाइट लगाने में टेंडर के नियमों का पालन किया गया या नहीं, इसकी बारीकी से जांच की जाएगी। पंचायत में कितनी स्ट्रीट लाइट की खरीद की गई और कितनी राशि का भुगतान हुआ एवं किस प्रकिया और किस एजेंसी से खरीद हुई इन बिंदुओं पर जांच की जाएगी। जानकारी हो कि ग्राम पंचायतों में लगाई गई स्ट्रीट लाइट की खरीद में कथित अनियमितता को लेकर स्थानीय ग्रामीणों द्वारा भी शिकायत की गयी है।

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