गांधी जयंती पर नीतीश कुमार की सुरक्षा में बड़ी चूक, युवक पहुंचा बिलकुल पास! पटना में सीएम नीतीश की सुरक्षा टूटी, सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो। जेड प्लस सिक्योरिटी में सेंध: नीतीश कुमार तक पहुंचा आम युवक।@पटना देशज टाइम्स।
पूर्व पीएम शास्त्री की प्रतिमा पर श्रद्धांजलि के दौरान नीतीश की सुरक्षा पर सवाल। लाइव कार्यक्रम में नीतीश कुमार की सुरक्षा टूट गई, विपक्ष ने साधा निशाना। सुरक्षा घेरे को भेदकर युवक ने दिखाई चिट्ठी, नीतीश कुमार दंग!
200 कमांडो तैनात फिर भी नीतीश कुमार तक पहुंचा युवक, क्या कहता है सिस्टम? गांधी जयंती पर सुरक्षा चूक: नीतीश कुमार को मिली सबसे बड़ी चुनौती। लाल बहादुर शास्त्री श्रद्धांजलि कार्यक्रम में नीतीश की सुरक्षा पर उठे गंभीर सवाल। वीडियो वायरल: नीतीश कुमार की सुरक्षा में सेंध, विपक्ष बोला- ‘सिस्टम फेल’
गांधी जयंती पर नीतीश कुमार की सुरक्षा में सेंध, युवक ने लिफाफा दिखाकर तोड़ी बैरिकेडिंग
पटना, देशज टाइम्स | गांधी जयंती के मौके पर पटना में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सुरक्षा व्यवस्था में बड़ी चूक सामने आई। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जब राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान के साथ पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित करने के बाद मंच से नीचे उतरे, तभी अचानक एक युवक उनके पास पहुंच गया।
युवक ने दिखाया लिफाफा
युवक बंद लिफाफा लेकर सीएम के करीब पहुंचा और उसमें से कागज दिखाने लगा। यह न सिर्फ मुख्यमंत्री बल्कि सुरक्षाकर्मियों के लिए भी चौंकाने वाली घटना थी। सुरक्षाकर्मियों ने तत्काल कार्रवाई करते हुए युवक को हिरासत में ले लिया। घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।
विपक्ष का हमला
विपक्षी दलों ने सुरक्षा चूक को बड़ा मुद्दा बनाया है। कहा जा रहा है कि अगर कोई व्यक्ति इतनी आसानी से सीएम के पास पहुंच सकता है तो सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल उठते हैं।
पहले भी उठे सवाल
यह पहला मौका नहीं है जब नीतीश कुमार की सुरक्षा में सेंध लगी हो। इससे पहले भी कई बार सुरक्षा घेरे को भेदने की घटनाएं हो चुकी हैं। हर बार जांच और कार्रवाई का वादा किया गया, लेकिन घटनाओं का दोहराव दर्शाता है कि सिस्टम में गंभीर खामी बनी हुई है।
सीएम की सुरक्षा कितनी सख्त?
नीतीश कुमार को Z+ कैटेगरी सुरक्षा प्राप्त है। मौजूदा समय में उनकी सुरक्षा में 200 से ज्यादा कमांडो तैनात रहते हैं। ये कमांडो स्पेशल सिक्योरिटी ग्रुप (SSG) से जुड़े होते हैं, जिनमें ITBP, CRPF, NSG और SPG के जवान शामिल रहते हैं। नियम इतने कड़े हैं कि बिना पूरी जांच और अनुमति के कोई भी व्यक्ति सीएम के करीब नहीं जा सकता। यहां तक कि माला पहनाने तक पर रोक है।
सवाल यह है
इतनी कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद अगर कोई युवक मुख्यमंत्री तक पहुंच जाता है, तो क्या वाकई सिस्टम में खामी है? या सुरक्षाकर्मी लापरवाह हो गए थे?