नया बिहार, नए मौके – जानिए कहां और कैसे मिल रही हैं नौकरियां; मंत्री मंगल पांडे ने दी बड़ी जानकारी – JOB IN BIHAR… @ पटना | स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कुशल नेतृत्व और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के मार्गदर्शन में स्वास्थ्य क्षेत्र में बड़े पैमाने पर सुधार किए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि 35,383 रिक्त पदों पर नई नियुक्ति प्रक्रिया प्रारंभ हो गई है, जो तीन से चार महीनों में पूरी कर ली जाएगी।
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आयुष मंत्रालय के कार्यों की सराहना
मंगल पांडेय ने कहा कि
“2014 के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दूरदर्शी सोच के कारण आयुष मंत्रालय निरंतर बेहतर प्रदर्शन कर रहा है।”
उन्होंने बताया कि आयुष्मान आरोग्य मंदिरों के माध्यम से आयुष चिकित्सा पद्धति को ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में मजबूती से स्थापित किया जा रहा है।
स्वास्थ्य विभाग में नई नियुक्तियों की प्रक्रिया तेज
35,383 पदों पर नई भर्तियों के लिए विज्ञापन प्रकाशित हो चुका है।
नियुक्तियों की प्रक्रिया तीन से चार महीनों में पूरी करने का लक्ष्य।
बिहार लोक सेवा आयोग (BPSC) को रिक्त शैक्षणिक पदों पर नियुक्ति के लिए अधियाचना भेजी गई है।
20,016 नए पद सृजित, आयुष स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार
स्वास्थ्य विभाग में पब्लिक मैनेजमेंट कैडर के तहत 20,016 नए पदों की स्वीकृति मिली है।
वित्तीय वर्ष 2025-26 में 7 जिलों (गोपालगंज, सिवान, मधुबनी, दरभंगा, बेगूसराय, गया और मोतिहारी) में 50 बेड वाले एकीकृत आयुष अस्पतालों का निर्माण शुरू होगा।
राज्य आयुष समिति के माध्यम से पैथोलॉजी जांच सेवाएं भी प्रारंभ की जा रही हैं।
सभी 38 जिलों में जिला संयुक्त औषधालय पहले से कार्यरत हैं।
आयुष शिक्षा के बुनियादी ढांचे में बड़ा निवेश
दरभंगा, बेगूसराय और राजकीय आरबीटीएस होम्योपैथिक कॉलेज के निर्माण हेतु 834 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं।
मॉडल जिला अस्पतालों में 10 बेड वाले आयुष अस्पतालों की भी व्यवस्था की जाएगी।
Job in Bihar: नौकरी और रोजगार के नए अवसर
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि
“मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का लक्ष्य है कि 12 लाख लोगों को नौकरी और 25 लाख लोगों को रोजगार उपलब्ध कराया जाए। स्वास्थ्य विभाग इस लक्ष्य की पूर्ति में महत्वपूर्ण योगदान कर रहा है।”
चिकित्सकों के लिए चार दिवसीय प्रशिक्षण
मंगल पांडेय ने कहा कि
“आयुष चिकित्सा पदाधिकारियों के लिए आयोजित यह चार दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम उनके कार्यकुशलता को बढ़ाएगा और स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता में सुधार लाएगा।”