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17 अप्रैल, 2024
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Training Mandatory : Bihar में Private Security Guard बनने के लिए करना होगा अब यह काम, प्रशिक्षण अनिवार्य, नई नियमावली लागू

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पटना – बिहार सरकार ने निजी सुरक्षा सेवाओं की गुणवत्ता सुधारने और सुरक्षा मानकों को मजबूत करने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। राज्य में अब प्राइवेट सुरक्षा गार्ड बनने के लिए प्रशिक्षण (Training) अनिवार्य कर दिया गया है। गृह विभाग द्वारा ‘निजी सुरक्षा अभिकरण नियमावली 2025’ को पूरे राज्य में लागू किया गया है।

गार्ड बहाली के लिए अब प्रशिक्षण जरूरी

नई व्यवस्था के तहत बिना तय प्रशिक्षण (Training) और शारीरिक मापदंडों (Physical Standards) को पूरा किए बिना किसी को भी निजी सुरक्षा गार्ड नियुक्त नहीं किया जा सकेगा।
मुख्य बातें:

  • सभी सामान्य अभ्यर्थियों को 20 दिन का प्रशिक्षण लेना अनिवार्य होगा।

    • इसमें 100 घंटे क्लासरूम ट्रेनिंग और 60 घंटे फील्ड ट्रेनिंग शामिल है।

  • भूतपूर्व सैनिकों और पूर्व पुलिसकर्मियों के लिए 7 दिन का प्रशिक्षण निर्धारित किया गया है।

    • इसमें 40 घंटे का शिक्षण और 16 घंटे का फील्ड प्रशिक्षण होगा।

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शारीरिक योग्यताओं का स्पष्ट निर्धारण

सुरक्षा गार्ड बनने के लिए अब शारीरिक योग्यताएं भी तय कर दी गई हैं:

  • पुरुष गार्ड के लिए:

    • न्यूनतम कद: 160 सेंटीमीटर

    • न्यूनतम सीना: 80 सेंटीमीटर

  • महिला गार्ड के लिए:

    • न्यूनतम कद: 150 सेंटीमीटर

    • सीना माप की अनिवार्यता नहीं होगी।

अन्य शर्तें:

  • दृष्टि और श्रवण दोष से मुक्त होना अनिवार्य।

  • 6 मिनट में 1 किलोमीटर दौड़ने की क्षमता जरूरी।

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हर साल स्वास्थ्य परीक्षण भी अनिवार्य

गार्डों की ड्यूटी योग्यता सुनिश्चित करने के लिए हर साल स्वास्थ्य परीक्षण (Health Check-up) जरूरी किया गया है। इससे यह सुनिश्चित होगा कि गार्ड किसी बीमारी या कमजोरी से प्रभावित नहीं हैं।

निजी सुरक्षा एजेंसियों पर सख्ती

नई नियमावली के तहत सभी निजी सुरक्षा एजेंसियों (Private Security Agencies) को इन मापदंडों का पालन करना होगा:

  • नियमों का उल्लंघन करने पर लाइसेंस निरस्त किया जाएगा।

  • दोषी एजेंसियों पर कड़ी कार्रवाई होगी।

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सरकार का उद्देश्य: राज्य में फर्जी और अव्यवस्थित एजेंसियों को रोकना और जनता को बेहतर सुरक्षा सेवा (Security Service) प्रदान करना।

रोजगार के अवसर बढ़ेंगे

इस नियमावली से:

  • सुरक्षा सेवाओं का स्तर सुधरेगा।

  • योग्य और प्रशिक्षित युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।

  • राज्य के सुरक्षा ढांचे को मजबूती मिलेगी।

निजी सुरक्षा की बढ़ती मांग को देखते हुए यह नियमावली एक सकारात्मक पहल (Positive Initiative) मानी जा रही है, जिससे आने वाले समय में व्यापक बदलाव देखने को मिल सकते हैं।

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