Bokaro Literature Festival: किताबें खामोश क्रांतियां हैं, जो हर मन में विचारों की चिनगारी सुलगाती हैं, ज्ञान की नई राहें दिखाती हैं। इसी वैचारिक यात्रा को सहेजने और समृद्ध करने के उद्देश्य से बोकारो में ‘शब्द सरिता महोत्सव’ का भव्य आयोजन होने जा रहा है।
बोकारो लिटरेचर फेस्टिवल: साहित्यिक चेतना का नया अध्याय
बोकारो जिले में साहित्य, संस्कृति और वैचारिक चेतना को नई ऊर्जा देने के लिए आगामी 7 और 8 जनवरी 2026 को ‘बोकारो शब्द सरिता महोत्सव – हर किताब एक नई दिशा दिखाती है…’ का आयोजन किया जाएगा। यह दो दिवसीय भव्य कार्यक्रम शिबू सोरेन स्मृति भवन (टाउन हॉल), बोकारो में संपन्न होगा। इस महत्वपूर्ण साहित्यिक आयोजन की विस्तृत जानकारी समाहरणालय सभागार में उपायुक्त (डीसी) अजय नाथ झा और उप विकास आयुक्त (डीडीसी) शताब्दी मजूमदार ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से दी।
उपायुक्त श्री अजय नाथ झा ने इस अवसर पर कहा कि बोकारो लिटरेचर फेस्टिवल जिले को एक जीवंत (‘वाइब्रेंट’) केंद्र बनाने की दिशा में एक और महत्वपूर्ण पहल है। उन्होंने आमजन से भावुक अपील करते हुए कहा कि प्रत्येक व्यक्ति को प्रतिदिन कम से कम एक पैराग्राफ पढ़ने और लिखने की आदत विकसित करनी चाहिए, ताकि बौद्धिक एवं वैचारिक विकास को गति मिल सके। उन्होंने जोर देकर कहा कि आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1। वैचारिक शून्यता को समाप्त करने के लिए ऐसे साहित्यिक आयोजनों से अधिक से अधिक लोगों को जुड़ना चाहिए। उपायुक्त ने सभी नागरिकों से आग्रह किया कि महोत्सव के दौरान वे कम से कम एक पुस्तक अवश्य खरीदें और पढ़ें।
ज्ञान, कला और साहित्य का समागम
प्रेस कॉन्फ्रेंस में उपायुक्त ने बताया कि महोत्सव के अंतर्गत कवि गोष्ठी, गहन साहित्यिक संवाद और विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भी आयोजन किया जाएगा। इस आयोजन में जिले सहित पूरे राज्य के नामी-गिरामी साहित्यकार, कवि और बुद्धिजीवी हिस्सा लेंगे। स्थानीय लेखक, कवि और प्रकाशक भी आयोजन समिति के सदस्यों से संपर्क कर अपनी सक्रिय सहभागिता सुनिश्चित कर सकते हैं। उन्हें अपनी मौलिक रचनाओं और पुस्तकों के प्रदर्शन का एक अनूठा अवसर प्रदान किया जाएगा।उप विकास आयुक्त (डीडीसी) श्रीमती शताब्दी मजूमदार ने बताया कि प्रशासन इस महोत्सव को सफल बनाने के लिए सभी आवश्यक तैयारियों में जुटा है और साहित्य प्रेमियों को एक सशक्त तथा समावेशी मंच उपलब्ध कराया जाएगा। यह एक ऐसा मंच होगा जहां विचारों का मुक्त प्रवाह होगा, और आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1।
दिग्गज साहित्यकारों का महाकुंभ
श्रीमती मजूमदार ने आगे बताया कि बोकारो शब्द सरिता महोत्सव – 2026 में देश भर के प्रतिष्ठित लेखक, कवि, शिक्षाविद, प्रकाशक और साहित्य प्रेमी हिस्सा लेंगे। इनमें कुछ प्रमुख नाम इस प्रकार हैं:
- भारतीय साहित्य अकादमी युवा पुरस्कार – 2016 से सम्मानित लेखक निलोत्पल मृणाल
- शिक्षाविद एवं एकलव्य संस्था के संस्थापक यासिर
- प्रसिद्ध कथा लेखक शिवनारायण गौर
- संथाली लेखक व विश्वभारती विश्वविद्यालय के प्रोफेसर धनेश्वर मांझी
- शिक्षाविद व प्रकाशक डॉ. शकुंतला मिश्रा
- लेखक डॉ. विनोद खोरठा
- रांची विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ. विनय भारत
- लेखक व समाजसेवी डॉ. साजिद हुसैन
- वॉकिंग बुक फेयर के संस्थापक अक्षय
- मानवविज्ञान के सहायक प्राध्यापक डॉ. अभय मिंज
- रूम टू रीड के राज्य प्रमुख सूरज कुमार
- सुप्रसिद्ध कवयित्री पद्मिनी शर्मा
- रामायण आधारित काव्य रचनाओं से देश-विदेश में चर्चित कवि अमन अक्षर
इसके साथ ही, महोत्सव में एकलव्य, रूम टू रीड, पिरामल फाउंडेशन, प्रथम बुक्स, झारखंड झरोखा, विजय पब्लिकेशन, प्रकाशन संस्थान, बुक फाइंड एवं प्रभात बुक्स जैसे प्रतिष्ठित प्रकाशक देश के विभिन्न हिस्सों से अपनी भागीदारी सुनिश्चित करेंगे। यह एक अद्भुत संगम होगा जहां साहित्य के विभिन्न रंग देखने को मिलेंगे। देश की हर बड़ी ख़बर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें: https://deshajtimes.com/news/national/ यह महोत्सव न केवल ज्ञान का विस्तार करेगा, बल्कि बोकारो की सांस्कृतिक पहचान को भी मजबूत करेगा। आप पढ़ रहे हैं देशज टाइम्स बिहार का N0.1।प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान अतिरिक्त समाहर्ता मुमताज अंसारी, अनुमंडल पदाधिकारी प्रांजल ढांडा, एनडीसी प्रभाष दत्ता, डीपीआरओ रवि कुमार, डीपीओ राज शर्मा, डीएसओ हेमलता बुन, डीडीएमओ शक्ति कुमार, एपीआरओ अविनाश कुमार सिंह, नीति आयोग के कंसल्टेंट सुदीप्तो हाजरा आदि सहित कई अधिकारी उपस्थित थे।






