मुजफ्फरनगर में 2013 के सांप्रदायिक दंगा (Muzaffarnagar Riots Case) मामले में विशेष एमपी-एमएलए अदालत ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के पूर्व विधायक विक्रम सैनी समेत 27 लोगों के खिलाफ विभिन्न धर्मों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देने के आरोप तय किये हैं। मामले में अगली सुनवाई 21 जून को होगी।
विशेष एमपी-एमएलए अदालत (MP-MLA Court) ने बीजेपी (BJP) के पूर्व विधायक विक्रम सैनी (Vikram Singh Saini) समेत 27 लोगों के खिलाफ विभिन्न धर्मों के बीच
दुश्मनी को बढ़ावा देने के आरोप तय किये हैं। मामले में अगली सुनवाई 21 जून को होगी। इस मामले में कोर्ट में मंगलवार को सुनावई हुई।
जानकारी के अनुसार,सांप्रदायिकता भड़काने के मामले में भाजपा के पूर्व विधायक विक्रम सैनी समेत दोनों पक्षों के 27 अभियुक्तों पर आरोप तय हो गए हैं।
जानसठ क्षेत्र के कवाल गांव में 27 अगस्त 2013 को झगड़े में ममेरे-फुफेरे भाई गौरव व सचिन और शाहनवाज की हत्या कर दी गई थी।
आगजनी, आर्म्स एक्ट, जानलेवा हमले समेत गंभीर धाराओं के मुकदमे में 11 अक्तूबर 2022 को तत्कालीन विधायक विक्रम सैनी समेत 12 आरोपियों को अदालत ने दो-दो साल कारावास और 10-10 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई थी, जिसके बाद सैनी की विधानसभा की सदस्यता चली गई थी।
दोनों पक्षों के 28 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था, ट्रायल के दौरान आरोपी सतीश की मौत हो गई थी। इस मामले में दो अलग-अलग पत्रावलियों पर मुकदमा शुरू हुआ।
विशेष न्यायालय (एमपी-एमएलए) के पीठासीन अधिकारी मयंक जायसवाल ने सुनवाई की। साक्ष्य के लिए 21 जून की तिथि तय की गई है। मुजफ्फरनगर दंगों से संबंधित मामले में विशेष सांसद-विधायक अदालत ने विभिन्न धर्मों के बीच शत्रुता फैलाने के आरोप में सैनी और 26 अन्य के खिलाफ आरोप तय किए।
सैनी को पहले ही इस मामले के अन्य आरोपों में दोषी ठहराया जा चुका था, जिसके चलते वह जिले के खतौली क्षेत्र से अपनी विधानसभा सदस्यता गंवा चुके हैं। पुलिस ने राज्य सरकार
से अनुमति मिलने के बाद भारतीय दंड संहिता की धारा 153 ए (धर्म, जाति के आधार पर विभिन्न समूहों के बीच शत्रुता को बढ़ावा देने और सद्भाव बिगाड़ने) के तहत आरोप पत्र दायर किया, जिसकी सुनवाई के समय सैनी सहित सभी 27 आरोपी अदालत में उपस्थित थे।