Bihar के स्वाद पर फिदा जापानी राजदूत — लिट्टी, रसिया, लौंगलता खाकर बोले… ‘Namaste Bihar!’ @पटना | भारत में जापान के राजदूत केइची ओनो (Keiichi Ono) इन दिनों अपने बिहार दौरे को लेकर चर्चा में हैं। इस यात्रा के दौरान उन्होंने न सिर्फ राजनीतिक और बुनियादी परियोजनाओं का निरीक्षण किया, बल्कि बिहार के पारंपरिक व्यंजनों का भी भरपूर लुत्फ उठाया।
‘गजब स्वाद बा’ – लिट्टी-चोखा पर जापानी राजदूत Keiichi Ono की प्रतिक्रिया
बिहार की प्रसिद्ध पारंपरिक डिश लिट्टी-चोखा ने अब अंतरराष्ट्रीय कूटनीति के गलियारों में भी अपनी जगह बना ली है। राजदूत ओनो ने अपनी थाली की एक तस्वीर X (पूर्व ट्विटर) पर साझा की और लिखा –
“नमस्ते बिहार! अंततः विश्व प्रसिद्ध लिट्टी-चोखा खाने का मौका मिला… गजब स्वाद बा।”
उनकी यह भोजपुरी में प्रतिक्रिया तेजी से वायरल हो गई और लोगों ने उनकी सादगी और स्थानीयता से जुड़ाव की प्रशंसा की।
केवल लिट्टी नहीं, थाली में थे बिहार के अन्य पारंपरिक व्यंजन
राजदूत को परोसी गई थाली में केवल लिट्टी-चोखा ही नहीं, बल्कि लौंगलता, रसिया, मट्ठा, भात, बजका-कचरी जैसे अनेक पारंपरिक व्यंजन भी शामिल थे। इन सबका आनंद लेते हुए ओनो ने बिहार की सांस्कृतिक विरासत को भी सराहा।
इस अवसर को खास बनाते हुए ओनो ने 14 अप्रैल को यह पोस्ट साझा की। यही दिन सतुआन पर्व (Satuaan Festival) के रूप में मनाया जाता है, जिसमें सत्तू आधारित व्यंजन जैसे लिट्टी का विशेष महत्व होता है।
राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजना का भी किया दौरा
ओनो का यह दौरा केवल व्यंजनों तक सीमित नहीं था। उन्होंने जापान पर्यटन एजेंसी के कमिश्नर नाओया हराइकावा के साथ पटना-गया-डोभी राष्ट्रीय राजमार्ग सुधार परियोजना (National Highway Improvement Project) का भी निरीक्षण किया।
उन्होंने एक्स पर पोस्ट करते हुए बताया:
“यह परियोजना जापान सरकार द्वारा वित्त पोषित है और इससे राज्य में यात्रा के समय में भारी कमी आएगी। इसके साथ ही यह बिहार की पर्यटन और अर्थव्यवस्था को सशक्त बनाएगी।”
यह परियोजना भारत-जापान रणनीतिक सहयोग का हिस्सा है, जिसके तहत जापान भारत के बुनियादी ढांचे के विकास में साझेदारी कर रहा है।
बोधगया में ध्यान और सांस्कृतिक दौरा
बिहार दौरे के दौरान राजदूत ने बोधगया स्थित महाबोधि मंदिर का भी भ्रमण किया। उन्होंने बोधि वृक्ष के नीचे बैठकर ध्यान किया, जो बौद्ध धर्म का सबसे पवित्र स्थल माना जाता है। उनके साथ जापान के वरिष्ठ अधिकारी, including जापान एम्बेसी के सेकंड सेक्रेटरी यूरता साइटो, भी उपस्थित थे।
ओनो की राजनयिक पृष्ठभूमि और भारत में भूमिका
केइची ओनो को अक्टूबर 2024 में भारत में जापान का राजदूत नियुक्त किया गया था, उन्होंने हिरोशी सुजुकी की जगह ली थी। ओनो एक अनुभवी राजनयिक हैं और उन्होंने जापान के विदेश मंत्रालय में वरिष्ठ उप मंत्री के रूप में कार्य किया है। साथ ही, वे G7 शेरपा की भूमिका में भी रह चुके हैं। 2023 में हिरोशिमा में आयोजित G7 शिखर सम्मेलन में उनकी भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण रही थी।
लिट्टी-चोखा को पसंद करने वाले अंतरराष्ट्रीय हस्तियों की सूची में एक और नाम
केइची ओनो पहले विदेशी गणमान्य व्यक्ति नहीं हैं जो लिट्टी-चोखा के मुरीद हुए हैं। इससे पहले जापान के पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे ने भी भारत दौरे के दौरान इस व्यंजन की सराहना की थी। उन्होंने इसकी सादगी, पौष्टिकता, और स्वाद की प्रशंसा की थी।
सोशल मीडिया पर यूजर्स का गर्मजोशी से स्वागत
राजदूत ओनो की पोस्ट पर लोगों की प्रतिक्रियाएं देखने लायक हैं। कई यूजर्स ने लिखा कि उन्हें बिहार की अन्य मिठाइयों जैसे तीखुटा, अनरसा, और खाजा का भी स्वाद लेना चाहिए। इस प्रकार, ओनो की यह यात्रा केवल राजनयिक नहीं बल्कि संस्कृति और स्वाद से जुड़ी भावनात्मक कड़ी भी बन गई।
निष्कर्ष: कूटनीति में स्वाद और संस्कृति की भूमिका
राजदूत ओनो का बिहार दौरा इस बात का प्रमाण है कि खानपान और संस्कृति भी राजनयिक संबंधों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उनकी ‘गजब स्वाद बा’ वाली टिप्पणी आज बिहार की संस्कृति और भारतीय व्यंजन परंपरा के लिए एक सम्मानजनक मोड़ बन चुकी है।