
पटना हाईकोर्ट में नई शुरुआत! पटना हाईकोर्ट को मिला नया कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश – जस्टिस पीबी बजंथरी ने संभाली कमान। राष्ट्रपति की अनुशंसा पर बड़ी नियुक्ति! जस्टिस पवनकुमार भीमप्पा बजंथरी बने पटना हाईकोर्ट के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश। जस्टिस विपुल पंचोली सुप्रीम कोर्ट में, अब पटना हाईकोर्ट की जिम्मेदारी जस्टिस बजंथरी के कंधों पर।@पटना,देशज टाइम्स।
पवन कुमार भीमप्पा बजंथरी बने पटना हाईकोर्ट के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश, राष्ट्रपति की अनुशंसा
पटना, देशज टाइम्स। केंद्र सरकार ने जस्टिस पवनकुमार भीमप्पा बजंथरी को पटना हाईकोर्ट का कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश (Acting Chief Justice) नियुक्त किया है। यह नियुक्ति राष्ट्रपति की अनुशंसा पर संविधान के अनुच्छेद 223 के तहत की गई। केंद्रीय कानून एवं न्याय मंत्रालय ने इस संबंध में 27 अगस्त 2025 को अधिसूचना जारी की।
जस्टिस विपुल एम पंचोली बने सुप्रीम कोर्ट के जज
यह फैसला उस समय लिया गया, जब पटना हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस विपुल एम पंचोली को सुप्रीम कोर्ट का न्यायाधीश नियुक्त किया गया। माना जा रहा है कि वे शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में शपथ लेंगे। उनकी इस उपलब्धि को लेकर कानून जगत में उत्साह का माहौल है।
जस्टिस बजंथरी को मिली बड़ी जिम्मेदारी
जस्टिस विपुल एम पंचोली की सुप्रीम कोर्ट में नियुक्ति के बाद, पटना हाईकोर्ट के सबसे वरिष्ठ जज जस्टिस पीबी बजंथरी को कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश का दायित्व सौंपा गया है। अब वे ही:
सभी नए केस अपने नाम से दायर करेंगे। हाईकोर्ट के न्यायिक व प्रशासनिक कार्यों का संचालन करेंगे। कोर्ट की कार्यकुशलता और गरिमा को बनाए रखेंगे
पटना हाईकोर्ट में विदाई समारोह
जस्टिस पंचोली के सम्मान में गुरुवार को पटना हाईकोर्ट परिसर स्थित शताब्दी भवन में एक विदाई समारोह आयोजित किया जाएगा। इसमें हाईकोर्ट के जज, वकील और कर्मचारी हिस्सा लेंगे।
मंत्रालय ने जारी की अधिसूचना
कानून मंत्रालय ने जस्टिस बजंथरी की नियुक्ति और जस्टिस पंचोली के स्थानांतरण को लेकर अलग-अलग अधिसूचनाएं जारी कीं। इनकी प्रतियां बिहार के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव सहित संबंधित अधिकारियों को भेजी गई हैं। मंत्रालय ने स्पष्ट किया कि जस्टिस बजंथरी की नियुक्ति तत्काल प्रभाव से लागू होगी, ताकि हाईकोर्ट के कार्य प्रभावित न हों।
निरंतरता और न्यायिक प्रक्रिया पर भरोसा
जस्टिस बजंथरी की नियुक्ति के साथ ही पटना हाईकोर्ट में न्यायिक प्रक्रिया की निरंतरता सुनिश्चित हो गई है। उनके नेतृत्व में कोर्ट का प्रशासनिक और न्यायिक कामकाज सुचारू और प्रभावी रहने की उम्मीद है।