दरभंगा, देशज टाइम्स ब्यूरो। मिल्लत महाविद्यालय में अंतर स्नातक परीक्षा के सफल संचालन के लिए मंगलवार को एक कार्यशाला का आयोजन किया गया। इसमें मिल्लत कॉलेज में प्रतिनियुक्त डेढ़ सौ शिक्षकों को प्रधानाचार्य ने शिक्षण कार्य बेहतर तरीके से निष्पादित करने का प्रशिक्षण दिया। उन्होंने कहा, परीक्षा की नियम विनियम व नई परीक्षा पद्धति में बदलाव को देखते हुए यह ट्रेनिंग दी जा रही है। थोड़ी सी लापरवाही मिल्लत कॉलेज को ही नहीं दरभंगा व समस्त बिहार को बदनाम करने के लिए काफी है।
उन्होंने शिक्षकों को महत्वपूर्ण टिप्स दिए। सभी शिक्षक कोशिश करेंगे कि परीक्षा के समय परीक्षा कक्ष से बाहर ना निकलें। अगर कोई दिक्कत हो तो तुरंत कंट्रोल रूम से कनेक्ट करें। बच्चों का कॉपी मिलान करके ही बच्चों को देंगे क्योंकि बच्चों का नाम रोल नंबर व पंजीकरण संख्या कॉपी पर अंकित है। दूसरे लड़के की कॉपी किसी ने ले लिया तो दूसरे बच्चे का भविष्य बर्बाद हो सकता है।
एक ही नाम के कई बच्चे होते हैं इसलिए बहुत सोच समझ कर ओएमआर व कॉपी देना होगा। बच्चों को प्यार मोहब्बत से पूछ लेंगे। बच्चों के पास किसी भी तरह का इलेक्ट्रॉनिक सामान कैलकुलेटर, मोबाइल, इलेक्ट्रॉनिक वॉच, ब्लूटूथ या कोई आपत्तिजनक सामान तो नहीं है। परीक्षा के दौरान कोई भी शिक्षक अपना मोबाइल इस्तेमाल नहीं करेंगे, बल्कि मोबाइल कंट्रोल रूम में जमा करके ही रूम में जाएंगे। बच्चे बिल्कुल नए हैं। डरे रहते हैं। ऐसे में, अगर हो सके तो बच्चों के डर को दूर करने के लिए उसे संक्षिप्त मे मोटिवेट भी कर सकते हैं लेकिन परीक्षा शुरू होने से पहले।
परीक्षा समाप्ति के बाद बच्चों से कॉपी ले लेंगे। जब आपको यकीन हो जाए कि सभी लड़कों ने कॉपी दे दिया तभी बच्चों को बाहर निकलने देंगे सभी आंसर बुक को लेकर कंट्रोल में जमा करेंगे एवं छात्राओं का हस्ताक्षर देख लेंगे। एक मौका आपको मिला है मुझे यकीन नहीं पूर्ण विश्वास है शिक्षक अपने दायित्व का निर्वाह ईमानदारी से करेंगे। मौके पर पूर्व रजिस्ट्रार मुस्तफा कमाल अंसारी ने परीक्षा से संबंधित बातें विस्तार से बताते कहा कि आपकी थोड़ी सी मेहनत और लगन बच्चों की तकदीर बदल सकती है।
परीक्षा नियंत्रक डॉ.एयाज अहमद ने विस्तारपूर्वक परीक्षाओं के सभी पहलुओं को शिक्षकों को बताया। शिक्षकों को यकीन दिलाया कि किसी भी प्रकार की अगर कोई परेशानी होती है तो हम लोग आपके साथ हैं। घबराने की जरूरत नहीं है। आप की अच्छी सोच ही बच्चों के लिए काफी है। मंच संचालन अताउर रहमान ने करते कहा कि सभी शिक्षक अपनी गरिमा को बनाए रखेंगे। इसके अलावा स्पोर्ट्स ऑफिसर अल्ताफ उल हक ने भी अच्छे सुझाव दिए।