सीएम नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) मिशन 2024 (Mission 2024) को देखते हुए दिल्ली जाएंगे। दिल्ली में विपक्ष के नेताओं को एकजुट करने पर बातचीत होगी।
इससे पहले, आज पटना में अभी अभी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मणिपुर में जेडीयू के विधायकों को बीजेपी में शामिल कराए जाने पर कहा कि यह कोई संवैधानिक काम नहीं है। देश में नई राजनीति चल चल रही है. दूसरी पार्टी के लोगों को तोड़ना गलत है। इसीलिए 2024 में पूरा विपक्ष मिलकर इन्हें सबक सिखाएगा।
सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि देश में इस समय लोकतांत्रिक मूल्यों की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। इसके साथ ही उन्होंने 2024 के लोकसभा चुनाव में विपक्षी एकता को लेकर कहा कि अगर 2024 में विपक्ष एकजुट रहा तो निर्णय बहुत अच्छा आएगा। इसके साथ ही नीतीश ने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि 2024 के चुनाव के बाद इन्हें सबक सिखाएंगे। इस दौरान नीतीश ने सवाल पूछा कि दूसरी पार्टी के चुने हुए लोगों को तोड़ना क्या कोई संवैधानिक काम है?
जानकारी के अनुसार, सीएम नीतीश पांच सितंबर को पटना से दिल्ली जाएंगे। सात सितंबर तक दिल्ली में ही नीतीश कुमार रहेंगे। यहां विपक्ष के नेताओं से मुलाकात करेंगे। 2024 लोकसभा चुनाव के मद्देनजर विपक्ष को एक मंच पर लाने का प्रयास करेंगे। उसी मिशन के तहत नीतीश कुमार का दिल्ली जाने का यह प्लान है। कहा जा रहा है कि बीजेपी के खिलाफ विपक्ष को एकजुट करने का ये जेडीयू का मास्टर प्लान हो सकता है। पढ़िए पूरी खबर
मिशन 2024 के तहत बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पांच सितंबर (Chief Minister to visit Delhi on September 5) को दो दिनों के लिए दिल्ली दौरे पर जायेंगे। वे खुद की उम्मीदवारी को लेकर विपक्षी दल के नेताओं का मन टटोलेंगे। आज जब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जदयू की राष्ट्रीय कार्यकारिणी में शामिल हुए तो कार्यकर्ताओं ने एक बार फिर से नीतीश कुमार के पीएम उम्मीदवारी के नारे लगाए।
दिल्ली दौरे के दौरान नीतीश कुमार की मुलाकात विपक्षी दल के अन्य नेताओं के साथ कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से भी हो सकती है। हालांकि, सोनिया गांधी से लगातार उनकी फोन पर बातचीत हो रही है लेकिन इसे विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश के रूप में भी देखा जा रहा है। नीतीश सात सितम्बर तक दिल्ली में रहेंगे।
उल्लेखनीय है कि जदयू के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी ने भी कहा है कि नीतीश कुमार जल्द ही देशभर की विपक्षी पार्टियों को एक साथ लाने के लिए देशव्यापी अभियान पर निकलने वाले हैं। ऐसे में नीतीश कुमार का यह दिल्ली दौरा इस अभियान के पहले पड़ाव के रूप में भी देखा जा रहा है।