
बिहार की महिलाओं को मोदी का तोहफ़ा! 105 करोड़ सीधे खाते में, मिलेंगे सस्ते लोन। चुनावी साल में पीएम मोदी का बड़ा ऐलान! 20 लाख महिलाओं को मिलेगा आर्थिक सहारा। अब ऊंचे ब्याज से आज़ादी! बिहार की ग्रामीण महिलाओं को मोदी सरकार का बड़ा तोहफ़ा। 105 करोड़ का खज़ाना खोला पीएम मोदी!नई दिल्ली/पटना, देशज टाइम्स
20 लाख महिलाएं होंगी सीधे लाभान्वित !
बिहार की महिलाओं को सस्ती ब्याज पर बड़े लोन। 20 लाख महिलाएं होंगी गवाह! पीएम मोदी ने लॉन्च किया बड़ा महिला उद्यमिता अभियान। मोदी का डिजिटल मिशन! 12,000 कार्यकर्ताओं को टैबलेट, महिलाओं तक पहुंचेगी सस्ती वित्तीय सेवा। बिहार की बेटियों के लिए खुशखबरी! अब मिलेंगे सस्ते लोन और आर्थिक ताक़तनई दिल्ली/पटना, देशज टाइम्स
बिहार की महिलाओं को पीएम मोदी की बड़ी सौगात, जीविका से जुड़ेगा नया सहकारी संघ
नई दिल्ली/पटना, देशज टाइम्स – प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को बिहार की महिलाओं के लिए आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल की शुरुआत की। चुनावी साल में बिहार को लगातार मिल रही सौगातों की कड़ी में, पीएम मोदी ने बिहार राज्य जीविका निधि साख सहकारी संघ का शुभारंभ किया और इसकी वित्तीय मजबूती के लिए 105 करोड़ रुपये सीधे संस्था के खाते में ट्रांसफर किए।
माताओं-बहनों का जीवन आसान बनाने के लिए एनडीए सरकार दिन-रात काम कर रही है। आज बिहार राज्य जीविका निधि साख सहकारी संघ लिमिटेड का शुभारंभ कर गौरवान्वित हूं। https://t.co/381gpeg2oX
— Narendra Modi (@narendramodi) September 2, 2025
बिहार की महिलाओं को पीएम नरेंद्र मोदी की बड़ी सौगात, 105 करोड़ जीविका निधि में हस्तांतरित
बिहार विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार की ग्रामीण महिलाओं (Women Entrepreneurs of Bihar) को एक बड़ी सौगात दी है। मंगलवार को पीएम मोदी ने बिहार राज्य जीविका निधि साख सहकारी संघ लिमिटेड का शुभारंभ किया।
पीएम मोदी का महिलाओं के लिए संकल्प
पीएम मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (Twitter) पर जानकारी साझा करते हुए कहा कि “बिहार की माताओं, बहनों और बेटियों को अवसरों की कमी न हो, इसके लिए सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है।”
105 करोड़ रुपए की सहायता राशि
कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सीधे जीविका निधि के बैंक खाते में 105 करोड़ रुपये की राशि हस्तांतरित की।
जीविका निधि का उद्देश्य
ग्रामीण महिलाओं को सशक्त बनाना, कम ब्याज दरों पर आसान ऋण (Easy Loan) उपलब्ध कराना, महिला उद्यमिता (Women Entrepreneurship) को बढ़ावा देना, आर्थिक आत्मनिर्भरता की दिशा में बड़ा कदम है।
बिहार की महिलाओं के लिए नया अवसर
इस योजना से बिहार की ग्रामीण महिलाओं को छोटे व्यापार, स्वरोजगार और स्टार्टअप्स के लिए सस्ती दर पर ऋण मिलेगा। इससे न केवल महिलाएं आत्मनिर्भर होंगी, बल्कि बिहार की ग्रामीण अर्थव्यवस्था (Rural Economy of Bihar) को भी मजबूती मिलेगी।
पीएम मोदी की बड़ी घोषणा
प्रधानमंत्री ने कहा कि यह योजना बिहार ही नहीं बल्कि पूरे देश में महिला सशक्तिकरण (Women Empowerment in India) का नया अध्याय लिखेगी।
महिलाओं को मिलेगा आर्थिक सशक्तिकरण
पीएम मोदी ने अपने ट्विटर संदेश में कहा कि सरकार का उद्देश्य है कि बिहार की माताओं, बहनों और बेटियों को अवसरों की कोई कमी न हो। इसी कड़ी में, उन्होंने ग्रामीण महिला उद्यमियों के लिए इस सहकारी संघ की नींव रखी, जिससे वे सस्ती और सुलभ वित्तीय सेवाओं का लाभ उठा सकेंगी।
यह पहल राज्य के प्रमुख ग्रामीण आजीविका कार्यक्रम जीविका (JEEViKA) से जुड़ी महिलाओं को माइक्रोफाइनेंस संस्थानों की ऊँची ब्याज दरों पर निर्भरता से मुक्त कराएगी। अब महिलाएं कम ब्याज पर बड़े लोन लेकर अपने उद्यम और रोजगार को आगे बढ़ा सकेंगी।
डिजिटल प्लेटफॉर्म से जुड़ेगा पूरा तंत्र
प्रधानमंत्री ने घोषणा की कि इस नई व्यवस्था को पूरी तरह डिजिटल प्लेटफॉर्म पर संचालित किया जाएगा। इसके लिए 12,000 सामुदायिक कार्यकर्ताओं को टैबलेट उपलब्ध कराए जाएंगे। इन टैबलेट्स के माध्यम से महिलाओं को बैंकिंग और वित्तीय सेवाओं की सहज व पारदर्शी पहुंच सुनिश्चित होगी।
यह कदम ग्रामीण महिलाओं को फाइनेंशियल लिटरेसी (Financial Literacy) और डिजिटल सशक्तिकरण की दिशा में भी मजबूत बनाएगा।
20 लाख महिलाएं बनीं ऐतिहासिक पहल की गवाह
इस शुभारंभ कार्यक्रम को राज्यभर की करीब 20 लाख महिलाओं ने लाइव देखा। इससे बिहार में महिला उद्यमिता और सामुदायिक सशक्तिकरण की नई ऊर्जा का संचार हुआ।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह योजना महिला वित्तीय समावेशन (Women Financial Inclusion) को नई दिशा देगी और उन्हें सामुदायिक उद्यमिता (Community Entrepreneurship) की ओर प्रोत्साहित करेगी।
चुनावी साल में बिहार को लगातार सौगातें
यह घोषणा ऐसे समय हुई है जब बिहार में चुनावी सरगर्मी तेज हो चुकी है। पीएम मोदी का यह कदम राज्य की महिला मतदाताओं को साधने की रणनीति के रूप में भी देखा जा रहा है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि बिहार की महिलाएं पहले से ही जीविका जैसी योजनाओं से जुड़कर स्वरोजगार और आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ रही हैं। ऐसे में नया सहकारी संघ उन्हें वित्तीय स्वतंत्रता दिलाने में महत्वपूर्ण साबित होगा।
योजना से होने वाले संभावित लाभ
महिलाओं को कम ब्याज पर ऋण उपलब्ध होगा। माइक्रोफाइनेंस संस्थानों पर निर्भरता कम होगी। ग्रामीण उद्यमिता को प्रोत्साहन मिलेगा। डिजिटल ट्रांजैक्शन से पारदर्शिता बढ़ेगी। आजीविका मिशन (NRLM) को नई गति मिलेगी।
यह बिहार की ग्रामीण महिलाओं के
प्रधानमंत्री मोदी की यह पहल सिर्फ एक वित्तीय योजना नहीं है, बल्कि यह बिहार की ग्रामीण महिलाओं के सामाजिक और आर्थिक सशक्तिकरण का रोडमैप है। महिला उद्यमिता, वित्तीय समावेशन और डिजिटल पहुँच को बढ़ावा देकर यह योजना आने वाले समय में बिहार की अर्थव्यवस्था और ग्रामीण विकास में क्रांतिकारी बदलाव ला सकती है।