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5 जनवरी, 2024
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कुर्सी थी दस शिक्षक थे 150 फिर क्यों ना हंगामा

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कुर्सी थी दस शिक्षक थे 150 फिर क्यों ना हंगामा आकिल हुसैन मधुबनी देशज टाइम्स ब्यूरो। लदनिया में खसरा रूबैला की सफलता को लेकर नोडेल शिक्षकों की बैठक नहीं हो सकी। बीईओ की ओर से निर्गत पत्र के आलोक में प्रखंड के सरकारी व निजी स्कूलों के प्रभारियों ने  सीएचसी में पहुंचते ही बैठने की व्यवस्था की मांग की। प्रशिक्षण कक्ष में पहुंचे नोडल शिक्षकों की संख्या लगभग 150 थी, परंत कुर्सियां मात्र दस ही लगी थी। ऐसी स्थिति में बैठने के सवाल पर हंगामा होना स्वाभाविक था। प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ.कुमार अमन की अनुपस्थिति के कारण दो घंटे तक की अवधि में शिक्षकों को एक साथ बैठाने की कोई व्यवस्था नहीं हो सकी।

कुर्सी थी दस शिक्षक थे 150 फिर क्यों ना हंगामा

शिक्षकों ने अव्यवस्था के सवाल पर प्रशिक्षण कक्ष का वहिष्कार करते हुए बाहर में प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी की। शिक्षकों ने बीईओ ललन प्रसाद सिंह के प्रति भी आक्रोश व्यक्त किया। शिक्षकों के अनुसार इस प्रशिक्षण में भेजने से पहले बीईओ श्री सिंह को व्यवस्था की जानकारी लेनी चाहिए थी। बैठक में उत्पन्न अव्यवस्था के के लिए मौके पर उपस्थित स्वास्थ्य कर्मियों ने जहां प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ.कुमार अमन को जिम्मेदार ठहराया। वहीं प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी ने फोन पर बताया कि उनकी उपस्थिति में ऐसा कुछ नहीं होता। तत्काल वैकल्पिक व्यवस्था कर ली जाती।

 

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