Darbhanga Zilla Parishad | अध्यक्ष बनीं सीता, 28-12 से रेणु देवी को हराया…जहां आखिरकार जिप अध्यक्ष पद पर सीता देवी ने अपना परचम लहराते हुए 28 – 12 से जीत हासिल कर ली। इससे पहले दरभंगा जिला परिषद की चेयरमैन रेणु देवी ने 12 जनवरी को विश्वास मत खो दिया था। मतदान के उपरान्त मतगणना में 01 मत अविधिमान्य पाया गया।जीत के बाद जिला निर्वाची पदाधिकारी सह-जिलाधिकारी राजीव रौशन ने उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। प्रमाण पत्र भी दिए। इसके साथ ही नव निर्वाचित अध्यक्ष को नशामुक्ति की भी शपथ दिलाई गई।
चुनाव में प्रत्याशी सीता देवी ने 46 सदस्यों में से 28 जिला परिषद सदस्यों का मत प्राप्त कर रेणु देवी को पराजित कर दिया
अध्यक्ष पद के लिए 02 अभ्यर्थियों यानि बहेड़ी प्रखंड के प्रादेशिक निर्वाचन क्षेत्र संख्या -26 से निर्वाचित जिला परिषद् सदस्य रेणु देवी और बहादुरपुर प्रखंड के प्रादेशिक निर्वाचन क्षेत्र संख्या -20 से निर्वाचित जिला परिषद् सदस्य सीता देवी की ओर से नाम निर्देशन पत्र दाखिल किया गया। दोनों की मौजूदगी में मतदान कराया गया। इससे पहले चुनाव आयोग की ओर से निर्धारित तिथि 15 मार्च को अध्यक्ष पद के लिए चुनाव कराने की तारीख तय की गई।
और बाहर निकल गईं रेणु देवी समर्थकों के साथ
आज हुए चुनाव में प्रत्याशी सीता देवी ने 46 सदस्यों में से 28 जिला परिषद सदस्यों का मत प्राप्त कर रेणु देवी को पराजित कर दिया है। सीता देवी के समर्थन में जैसे ही 28 मत पड़ने की घोषणा डीएम राजीव रौशन ने की पूर्व जिप अध्यक्ष रेणु देवी अपने समर्थकों के साथ सभागार से बाहर निकल गई।
रेणु देवी के समर्थन में 14 मत पड़े हैं।
वहीं रेणु देवी के समर्थन में 14 मत पड़े हैं। आज सुबह 11 बजे से मतदान की प्रक्रिया शुरू की गई थी। गौरतलब है कि पहली बार रेणु देवी ने सीता देवी को एक वोट से पराजित किया था।
न वोटिंग में केवल 41 पार्षदों ने हो भाग लिया
जिप अध्यक्ष पद के लिए शुक्रवार को वोटिंग निर्धारित था। लेकिन वोटिंग में केवल 41 पार्षदों ने हो भाग लिया। जबकि सुनीता यादव, अजय यादव, फरहत हैदर, फरहाना खातून सहित रीता देवी वोटिंग में शामिल नहीं हुई।
क्रॉस वोटिंग के कारण एक वोट अवैध घोषित
वहीं क्रॉस वोटिंग के कारण एक वोट अवैध घोषित किया गया। जिला में कुल 47 जिला पार्षद है। जिसमें केवटी की जिप सदस्य शशि रानी ने इस्तीफा दे दिया है। जिसके बाद मौजूदा समय में 46 पार्षद हैं।
जन सुराज ज़िंदाबाद, एमएसयू जिंदाबाद का नारा
वहीं, इस जीत के बाद सीता देवी के समर्थकों ने ढोल-नगाड़े बजाए। एक दूसरे को रंग और गुलाल से सराबोर कर डाला। मगर, जन सुराज ज़िंदाबाद और जन सुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर जिंदाबाद के नारे और बाद में जैसे ही जिप अध्यक्ष पद पर जीत मिलने के बाद सीता देवी अपने समर्थकों के साथ बाहर निकली उनके खेमे में शामिल कुछ समर्थकों ने जन स्वराज का झंडा लहराते हुए प्रशांत किशोर जिंदाबाद और जन स्वराज जिंदाबाद का नारा लगाना शुरु कर दिया, इससे माहौल एकदम चुनावी चुनावी हो गया।
जिप अध्यक्ष सीता ने कहा कि अब सभी पार्षदों को सम्मान और उनका वाजिब अधिकार उनके कार्यकाल में
इसके बाद जो दिखा वह अलग मोड का था जहां एमएसयू के समर्थकों ने एमएसयू जिंदाबाद का नारा लगाते हुए झंडा हटा दिया। इससे कुछ पार्षद नाराज हो गए। दूसरी ओर चले गए। जीत पर सीता देवी ने कहा कि हम नहीं जीते हैं। हमारे पार्षदों की यह जीत है। हम लोग बहुत कठिनाइयों में सामना करने के बाद जीते हैं। अब एक सीट का चुनाव और बचा है, उसे भी हम लोग जीत लेंगे। जिप अध्यक्ष सीता ने कहा कि अब सभी पार्षदों को सम्मान और उनका वाजिब अधिकार उनके कार्यकाल में मिलेगा। किसी के साथ न कोई भेदभाव होगा न किसी की उपेक्षा होगी।
13 जनवरी को अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के लिए बैठक हुई थी
जानकारी के अनुसार, तीन जनवरी को दो दर्जन से अधिक जिप सदस्यों ने अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद पर अविश्वास का आवेदन दिया था। इसके बाद 13 जनवरी को अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के लिए बैठक हुई थी।
अविश्वास प्रस्ताव पर बुलाई गई बैठक को चुनौती दी गई
इसमें दोनों पद पर 26-0 से अविश्वास पास होने के बाद निर्वाचन आयोग को चुनाव के लिए पत्राचार जिला प्रशासन ने किया। इस दौरान पूर्व अध्यक्ष व उपाध्यक्ष की ओर से कोर्ट में रिट दायर कर अविश्वास प्रस्ताव पर बुलाई गई बैठक को चुनौती दी गई।
15 मार्च को अध्यक्ष पद पर चुनाव की तिथि निर्धारित की गई
इसके बाद न्यायालय में हुई सुनवाई में 13 मार्च की बैठक को गलत करार दिया गया था। लेकिन उस आदेश के विरुद्ध पुनः विपक्षी पार्षद ने डबल बेंच में रिट दायर किया। इसके बाद हुई सुनवाई में उस बैठक को सही बताते हुए 15 मार्च को अध्यक्ष पद पर चुनाव की तिथि निर्धारित की गई थी।
सीता देवी को 28-12 से जीत मिला
न्यायालय के आदेश पर शुक्रवार को हुई वोटिंग में अध्यक्ष पद के लिए रेणु देवी और सीता देवी ने अपना नामांकन किया। जिसके बाद दोनों के नामांकन पत्र को जांच कर सही होने के बाद चुनाव कराई गई। इसमें सीता देवी को 28-12 से जीत मिला।