पटना, देशज टाइम्स – अब अपराधियों की गिरफ्तारी और सजा के साथ-साथ उनकी अवैध संपत्तियों पर भी कार्रवाई होगी। बिहार पुलिस ने पूरे राज्य में 2000 से अधिक कुख्यात अपराधियों की पहचान की है, जिनकी संपत्ति अब भारतीय न्याय सुरक्षा संहिता (BNSS) की धारा 107 के तहत जब्त की जाएगी।
पुलिस की नई रणनीति: गिरफ्तारी नहीं, अब अवैध कमाई पर प्रहार
150 से अधिक मामलों में संपत्ति जब्ती का प्रस्ताव कोर्ट में दाखिल हो चुका है। 18 से अधिक मामलों में कोर्ट ने नोटिस जारी कर जब्ती की प्रक्रिया शुरू कर दी है।डीजीपी विनय कुमार खुद पूरे अभियान की निगरानी कर रहे हैं।
डीजीपी का बयान: “अब केवल अपराधी को जेल भेजना नहीं, बल्कि उसकी अवैध कमाई को भी खत्म करना हमारा लक्ष्य है।”
कौन-कौन हैं निशाने पर?
नाम | जिला | स्थिति |
---|---|---|
चुन्नू ठाकुर | मुजफ्फरपुर | कोर्ट ने संपत्ति जब्ती का आदेश दिया |
रईस खान | सीवान | कोर्ट का नोटिस जारी, संपत्ति के वैध स्रोत का प्रमाण मांगा गया |
BNSS धारा 107 क्या कहती है?
यदि संपत्ति अपराध से अर्जित पाई जाती है, तो पुलिस जब्ती प्रस्ताव कोर्ट में प्रस्तुत कर सकती है। जांच अधिकारी (IO) को आरोपी की संपत्ति और वित्तीय स्थिति की पूरी जांच करनी होती है।आरोपी यदि वैध आय का स्रोत नहीं बता पाता, तो कोर्ट जब्ती की अनुमति दे सकता है।
कार्रवाई के प्रमुख बिंदु
राज्य पुलिस ने विशेष अभियान चलाया है। सभी जिलों को निर्देश जारी: संदेहास्पद संपत्ति पर नजर रखें। फरार या जमानत पर चल रहे अपराधी भी कार्रवाई की जद में।
समाज को भेजा जा रहा सख्त संदेश
बिहार पुलिस की यह कार्रवाई केवल अपराध नियंत्रण की दिशा में नहीं बल्कि समाज को यह स्पष्ट संदेश देने का प्रयास है कि:
“अब अपराध करना फायदे का सौदा नहीं, अवैध कमाई भी कानून के निशाने पर है।”