जनप्रतिनिधि को सजा: दरभंगा कोर्ट का बड़ा फैसला। विधायक मिश्रीलाल यादव की अपील खारिज। विधायक मिश्रीलाल यादव और सुरेश यादव को तीन माह की सजा बरकरार। कोर्ट ने भेजा जेल। दरभंगा कोर्ट का निर्देश: दरभंगा कोर्ट ने विधायक मिश्रीलाल यादव की अपील खारिज करते हुए 3 महीने की सजा बरकरार रखी है। साथ ही IPC 506 में भी दोषी ठहराया गया है। अब 27 मई को और सजा का ऐलान होगा।
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दरभंगा में विधायक मिश्रीलाल यादव को अदालत से झटका, अपील खारिज, सजा बरकरार, अब 506 IPC में भी दोषी करार
दरभंगा/देशज टाइम्स – दरभंगा एमपी/एमएलए कोर्ट ने आरजेडी विधायक मिश्रीलाल यादव और उनके सहयोगी सुरेश यादव को एक बड़ा झटका दिया है। अदालत ने उनके द्वारा निम्न अदालत की सजा के खिलाफ दायर अपील को खारिज कर दिया है और तीन माह की सजा को बरकरार रखते हुए दोनों को मंडल कारा भेजने का आदेश दिया है।
निचली अदालत की सजा बरकरार, अपील खारिज
अपीलीय विशेष न्यायाधीश सुमन कुमार दिवाकर ने अपीलवाद संख्या 3/25 पर सुनवाई पूरी कर निचली अदालत के फैसले को पूरी तरह से सही ठहराया। IPC की धारा 323 में तीन माह की सजा को बरकरार रखते हुए तुरंत प्रभाव से सजा लागू करने का आदेश दिया गया। पढ़िए पूरी खबर
तीन माह की सजा बरकरार, मंडलकारा दरभंगा भेज
दरभंगा जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय सह एमपी/एमएलए कोर्ट के अपीलीय विशेष न्यायाधीश सुमन कुमार दिवाकर की अदालत ने विधायक मिश्री लाल यादव और सुरेश यादव की ओर से निम्न अदालत में सुनाई गई सजा के खिलाफ दाखिल अपीलवाद सं. 3/25 को खारिज कर दिया। वहीं, निम्न अदालत की ओर से विधायक श्री यादव और सुरेश यादव को दी गई तीन माह की सजा को बरकरार रखते हुए मंडलकारा दरभंगा भेज दिया।
निचली अदालत की सजा बरकरार, अपील खारिज
इसी मामले के सूचक उमेश मिश्र ने क्रिमिनल अपील 6/25 संस्थित कराकर अदालत से याचना किया था कि निम्न अदालत में आपराधिक धमकी देने से संबंधित साक्ष्य प्रस्तुत करने के बाबजूद भादवि की धारा 506 में दोषी नहीं पाया गया है। वहीं 323 भादवि में भी साक्ष्य रहने के बाबजूद कम सजा दी गई है,जिसे बढ़ाया जाए।
भादवि की धारा 506 में आज से सजा प्रभावी रहेगी
श्री दिवाकर की अदालत ने सर्वप्रथम मिश्री लाल यादव और सुरेश यादव के अपीलवाद पर सुनवाई पूरी कर निम्न अदालत द्वारा पारित निर्णय का सम्पुष्टि किया। वहीं कोर्ट आदेशित किया कि आज से सजा प्रभावी रहेगी। वहीं, सूचक के अपीलवाद की सुनवाई पूरी कर कोर्ट ने अपीलवाद को आंशिक रुप से स्वीकृत किया। साथ ही, भादवि की धारा 506 में दोनों को दोषी करार दिया।
स्पेशल एपीपी रेणु झा का बयान:
“कोर्ट ने आरोपी की अपील खारिज करते हुए तुरंत सजा लागू करने का आदेश दिया है। वहीं सूचक की अपील पर IPC 506 में दोषी ठहराया गया है। अब अगली सुनवाई 27 मई को होगी जिसमें सजा अवधि तय होगी।”
क्या था मामला? – जानें पूरा घटनाक्रम
29 जनवरी 2019 को समैला निवासी उमेश मिश्रा के साथ गाली-गलौज, मारपीट और सिर फोड़ने की घटना हुई थी। अगली सुबह 30 जनवरी को रैयाम थाना में प्राथमिकी संख्या 4/19 दर्ज कराई गई। शिकायत में विधायक मिश्रीलाल यादव, सुरेश यादव और 20-25 अन्य लोगों के खिलाफ गंभीर आरोप लगाए गए थे। 21 फरवरी 2025 को एमपी/एमएलए कोर्ट के जज करुणानिधि प्रसाद आर्य ने IPC 323 के तहत तीन महीने की सजा सुनाई थी।
स्पेशल एपीपी रेणू झा ने बताया-27 मई की तिथि निर्धारित
अब, 27 मई की तिथि निर्धारित की गई। जिस दिन 506 भादवि में सजा की अवधि निर्धारण के लिए सुनवाई और निर्णय की जाएगी। इस मामले में अभियोजन पक्ष का संचालन कर रहे स्पेशल एपीपी रेणू झा ने बताया कि समैला निवासी उमेश मिश्र ने 29 जनवरी 19 की घटना को लेकर 30 जनवरी को रैयाम थाना में प्राथमिकी सं. 4/19 दर्ज कराया था।
दरभंगा के एमपी/एमएलए कोर्ट के पीठासीन पदाधिकारी करुणानिधि प्रसाद आर्य ने…
इसमें विधायक मिश्रीलाल यादव,पचाढ़ी निवासी सुरेश यादव समेत 20/25 व्यक्ति के खिलाफ घेरकर गाली गलौज मारपीट कर सिर फार देने का आरोप लगाया था। इस मामले में दरभंगा के एमपी/एमएलए कोर्ट के पीठासीन पदाधिकारी करुणानिधि प्रसाद आर्य की अदालत ने 21 फरवरी 25 को विधायक मिश्रीलाल यादव और उनके सहयोगी सुरेश यादव को भादवि की धारा 323 में दोषी घोषित करते हुए तीन माह की सजा और 500 रुपया अर्थदंड चुकाने की सजा सुनाई थी।
अन्य धारा में भी सजा देने का अनुरोध
स्पेशल एपीपी रेणु झा के अनुसार न्यायालय के उक्त सजा के निर्णय के खिलाफ विधायक श्री यादव और सुरेश यादव ने अपीलवाद दाखिल कर न्याय की गुहार लगाई थी। इसके विपरित इस केस के सूचक ने भी निम्न अदालत की ओर से दी गई सजा को कम बताते हुए सजा अवधि बढ़ाने और अन्य धारा में भी सजा देने का अनुरोध किया था।
धारा 506 में दोनों को अब 27 मई की तिथि कायम
शुक्रवार को कोर्ट ने दोनों अपीलवाद की सुनवाई पूरी कर विधायक की ओर से दायर अपीलवाद को खारिज कर दिया। वहीं सूचक के अपीलवाद को आंशिक स्वीकृत करते हुए भादवि की धारा 506 में भी दोषी घोषित किया है। अब नए धारा 506 में दोनों को मिलने वाली सजा अवधि निर्धारण के लिए 27 मई की तिथि कायम किया है।